सामान्य वर्ग के निर्धन व्यक्तियों के कल्याण के लिये ग्यारह योजनायें लागू
आयोग के अध्यक्ष श्री बाबूलाल जैन की अध्यक्षता में बैठक सम्पन्न
ग्वालियर 07 अगस्त 09। सामान्य वर्ग के निर्धन व्यक्तियों के कल्याण के लिये गठित राज्य सामान्य निर्धन वर्ग कल्याण आयोग के अध्यक्ष श्री बाबूलाल जैन ने कहा है कि प्रदेश सरकार का प्रयास है कि सभी को रोटी, कपड़ा, मकान , शिक्षा, अच्छा स्वास्थ्य, रोजगार तथा प्रतिष्ठापूर्ण गरिमामय जीवन जीने का अवसर मिले। इसी उद्देश्य को लेकर सामान्य निर्धन वर्ग कल्याण आयोग का गठन किया गया है। इन वर्गों के कल्याण के लिये अभी ग्यारह योजनायें शुरू की गई हैं। आगे और भी योजनायें लागू की जायेंगी। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिये कि आयोग के कार्यों को गंभीरता से लें तथा सामान्य वर्ग के गरीबों का जीवन स्तर बढ़ायें। श्री जैन ने यह बात आज यहां राज्य स्वास्थ्य प्रबंधन एवं संचार संस्थान में आयोजित बैठक में कही। बैठक में आयोग के सचिव श्री डी पी. तिवारी, प्रभारी कलेक्टर श्री आर के. जैन तथा जिले के विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
आयोग के अध्यक्ष श्री जैन ने कहा कि निर्धन कोई भी हो उन्हें आत्म निर्भर व स्वावलम्बी बनाया जायेगा। ऐसे लोग अपने पैरों पर खड़े हो सकें, इसके लिये शिक्षा सबसे बेहतर माध्यम है। इसलिये आयोग द्वारा योजनाओं में शिक्षा के क्षेत्र को प्राथमिकता दी गई है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था पशु पालन एवं कृषि पर निर्भर है। इसके लिये गो संवर्धन पर बल दिया गया है तथा इसमें महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित की गई है। उन्होंने कहा कि निर्धनों में आत्म विश्वास बढ़ाने के लिये रोजगार, आवास एवं स्वास्थ्य पर भी ध्यान दिया गया है ताकि मजबूत समाज बने एवं समाज का कोई भी हिस्सा कमजोर नहीं रहे। श्री जैने ने बताया कि आयोग द्वारा संस्कृत प्रसार योजना के अन्तर्गत 224 पद संस्कृत के शिक्षकों के स्वीकृत किये गये हैं, जिसकी भरती व्यवसायिक परीक्षा मण्डल के माध्यम से होगी। साथ ही संभागीय मुख्यालयों पर सामान्य वर्ग के निर्धन घात्रों के लिये 100 सीट के छात्रावास बनवाने की आयोग की योजना है।
आयोग के अध्यक्ष श्री जैन ने बताया कि आयोग द्वारा वर्तमान में ग्यारह योजनायें शुरू की गईं हैं। इनमे सामान्य निर्धन वर्ग के छात्रों को छात्रवृत्ति, स्वामी विवेकानन्द प्री मेट्रिक छात्रवृत्ति, स्वामी विवेकानन्द पोस्ट मेट्रिक प्रावीण्य छात्रवृत्ति, सुदामा शिष्यवृत्ति योजना, डॉ. ए पी जे. अब्दुल कलाम मेधावी छात्र प्रोत्साहन योजना, व्यवसायिक पाठयक्रमों में विक्रमादित्य नि:शुल्क शिक्षा योजना, नि:शुल्क पाठय पुस्तकें, वीरांगना लक्ष्मीबाई सायकिल योजना, सांदीपनि संस्कृत भाषा प्रचार योजना, माँ सरस्वती योजना एवं आचार्य विद्यासागर गौ संवर्धन योजना शामिल है। बैठक में आयोग के सचिव श्री डी पी. तिवारी ने इन योजनाओं की विस्तार से जानकारी दी तथा इन पर तत्परता से कार्य करने के अधिकारियों को निर्देश दिये। इस अवसर पर उपस्थित अधिकारियों से महत्वपूर्ण सुझाव भी लिये गये। प्रभारी कलेक्टर श्री जैन ने सुझाव दिया कि आयोग की योजनाओं का व्यापक प्रचार-प्रसार कराने की आवश्यकता है ताकि आम लोगों को इसकी जानकारी हो सके। उन्होंने सुझाव दिया कि छात्रवृत्ति योजना केवल शासकीय विद्यालयों एवं महाविद्यालयों में ही लागू है, इसे निजी शिक्षण संस्थाओं में भी लागू किया जाना उचित होगा। इनके अलावा बैठक में प्रतियोगी परीक्षाओं में शामिल होने के लिये कोचिंग व्यवस्था शुरू करने, शहरी क्षेत्र के निर्धनों के लिये योजनायें शुरू करने, आवासीय योजनायें प्रारंभ करने संबंधी महत्वपूर्ण सुझाव दिये गये। अध्यक्ष श्री जैन ने कहा कि अधिकारी अपने सुझाव लिखकर भी आयोग के कार्यालय को भेज सकते हैं साथ ही सचिव श्री तिवारी के मोबाइल नम्बर 9425012607 पर भी अवगत कराया जा सकता है।
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