बुधवार, 23 नवंबर 2011

मुरैना जिला अभिभाषक संघ का निर्वाचन संपन्न , हरी सिंह सिकरवार फिर बने अध्यक्ष, नई कार्यकारणी गठित

मुरैना जिला अभिभाषक संघ का निर्वाचन संपन्न , हरी सिंह सिकरवार फिर बने अध्यक्ष, नई कार्यकारणी गठित

मुरैना 23 नवम्बर 2011 , आज यहॉं जिला न्यायालय मुरैना में संपन्न जिला अभिभाषक संघ (District Bar Association- Morena) के चुनावों में बेहद कड़ी स्पर्धा में हरी सिंह सिकरवार पुन: तीसरी बार अध्यक्ष निर्वाचित हो गये हैं , इसके साथ ही पूरी कार्यकारणी का नव निर्वाचन हुआ है विजयी प्रत्याशीयों की सूची इस प्रकार है - हरी सिंह सिकरवार एडवोकेट - अध्‍यक्ष (तीसरी बार) , रामभरोसी पचोरी एडवोकेट- उपाध्यक्ष, महेन्द्र कुमार अग्रवाल एडवोकेट- सचिव, प्रदीप जैन एडवोकेट- कोषाध्यक्ष, दीपक बाबू शुक्ला एडवोकेट- सह सचिव, राजेन्द्र गुप्ता एडवोकेट- लाइब्रेरियन .... ग्वालि‍यर टाइम्स परि‍वार सभी विजयी प्रत्याशियों को हार्दिक बधाई देता है
 

मुरैना जिला अभिभाषक संघ का निर्वाचन संपन्न , हरी सिंह सिकरवार फिर बने अध्यक्ष, नई कार्यकारणी गठित

मुरैना जिला अभिभाषक संघ का निर्वाचन संपन्न , हरी सिंह सिकरवार फिर बने अध्यक्ष, नई कार्यकारणी गठित

मुरैना 23 नवम्बर 2011 , आज यहॉं जिला न्यायालय मुरैना में संपन्न जिला अभिभाषक संघ (District Bar Association- Morena) के चुनावों में बेहद कड़ी स्पर्धा में हरी सिंह सिकरवार पुन: तीसरी बार अध्यक्ष निर्वाचित हो गये हैं , इसके साथ ही पूरी कार्यकारणी का नव निर्वाचन हुआ है विजयी प्रत्याशीयों की सूची इस प्रकार है - हरी सिंह सिकरवार एडवोकेट - अध्‍यक्ष (तीसरी बार) , रामभरोसी पचोरी एडवोकेट- उपाध्यक्ष, महेन्द्र कुमार अग्रवाल एडवोकेट- सचिव, प्रदीप जैन एडवोकेट- कोषाध्यक्ष, दीपक बाबू शुक्ला एडवोकेट- सह सचिव, राजेन्द्र गुप्ता एडवोकेट- लाइब्रेरियन .... ग्वालि‍यर टाइम्स परि‍वार सभी विजयी प्रत्याशियों को हार्दिक बधाई देता है
 

गुरुवार, 17 नवंबर 2011

ग्वालियर चम्‍बल में चुनावों की जोशगर्मी शुरू, कांग्रेस का खिसका मजबूत खंब और बसपा ने लपका

ग्वालियर चम्‍बल में चुनावों की जोशगर्मी शुरू, कांग्रेस का खिसका मजबूत खंब और बसपा ने लपका
मुरैना डायरी
नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनंद''
 
भाजपा में सवैया खिवैया और चौथाईये पौने का खेल
ग्वालियर के आनंद नगर में हुये कांग्रेस भाजपा संग्राम के ही बहाने सही राजनीति के समीकरण और कांग्रेस भाजपा के अगले विधानसभा चुनावों में रणनीतिक खुलासों पर तो खुल कर बहस शुरू हो ही गयी है , तकरीबन परिदृश्य साफ सा हो गया है कि म.प्र. और विशेषकर ग्वालियर चम्बल संभाग में क्या राजनीतिक खेल होना है । ग्वालियर चम्बल संभाग जहॉं सवर्ण बाहुल्य क्षेत्र हैं तो वहीं चम्बल संभाग विशुद्ध राजपूत क्षेत्र है ।
ग्वालियर चम्बल की राजनीति की राजधानी और राजनीति का केन्द्र इस समय मुरैना लोकसभा और मुरैना जिला की दिमनी विधानसभा सीटों में समाहित है जहॉं से भाजपा के दिग्गज और धुरंधर नेता नरेन्द्र सिंह तोमर इस राजनीति कर रहे हैं , इस समय ग्वालियर चम्बल की राजनीति की यह राजधानी नरेन्द्र सिंह तोमर के पूरी तरह कब्जे में हैं जहॉं नरेन्द्र सिंह तोमर इस समय भाजपा के मुरैना से खुद सांसद हैं और उनके अंधे अनुयायी शिवमंगल सिंह तोमर दिमनी विधानसभा से भाजपा विधायक हैं ।
चूंकि अम्बाह विधानसभा, दिमनी विधानसभा और गोहद विधानसभा तीनों ही तोमर राजपूत बाहुल्य क्षेत्र हैं वहीं मुरेना लोकसभा पूरी तरह राजपूत बाहुल्य क्षेत्र और उसमें भी तोमर राजपूतों की बाहुल्यता के चलते नरेन्द्र सिंह तोमर एक पुख्ता जमीन पर जड़ें टिका कर राष्ट्रीय राजनीति में टिके हुये हैं ।
नरेन्द्र सिंह तोमर का भाजपा के वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष प्रभात झा से गुणा भाग ठीक ठाक नहीं जम पा रहा यह बात तो काफी समय से लोग जानते हैं किन्तु ग्वालियर की आनंद नगर की घटना के बाद यह बात खुलकर सामने आ गयी और कानाफूसी के दौर चालू हो ही गये। जहॉं प्रभात झा नरेन्द्र सिंह तोमर के धुर विरोधियों को आगे बढ़ाने में लगे हुये हैं वहीं नरेन्द्र सिंह तोमर के समर्थकों को साथ ही दरकिनार भी कर रहे हैं ।
ग्वालियर चम्बल में ठाकुरवाद ब्राह्मणवाद लंबे समय से एक गहरा जहरीला दंश रहा है जो अब भाजपा में खुल कर नजर आने लगा है ।
लगभग यह साफ है कि अगले चुनावों में प्रभात झा के रहते नरेन्द्र सिंह तोमर की इच्छा के मुताबिक भाजपा का टिकिट वितरण नहीं होगा । और अंचल में नरेन्द्र सिंह तोमर द्वारा बिछायी गयी राजनीतिक बिसात को प्रभात झा पूरी तरह पलट देने की तैयारी में है ।
दूसरी ओर कांग्रेस की असल हालत भी ग्वालियर काण्ड के बहाने खुल कर सामने आ गयी है, चूंकि कांग्रेस ने ग्वालियर चम्बल अंचल पूरी तरह ज्योतिरादित्य सिंधिया के हवाले कर रखा है और सिंधिया पिछड़े वर्ग की राजनीति तक ही सीमित हैं ऐसी सूरत में यदि केवल प्रद्युम्न सिंह तोमर को छोड़ दिया जाये तो सिंधिया के पास पूरे ग्वालियर चम्बल अंचल में केवल शून्य शेष बचता है । प्रद्युम्न सिंह तोमर भी तोमर होने के कारण चुनाव जीते यह बात किसी से छिपी नहीं है वहीं प्रद्युम्न की जीत में नरेन्द्र सिंह तोमर का भी बहुत बड़ा योगदान होने का आरोप भाजपा के अन्य नेता जयभान सिंह पवैया द्वारा लगाया जाता रहा है ।
कांग्रेस के अय धड़े अर्जुन सिंह और दिग्विजय सिंह गुट इस समय पूरी चम्बल में शांत और निष्क्रिय हैं , ग्वालियर घटनाक्रम के बाद भी अर्जुन सिंह और दिग्विजय सिंह गुट के नेताओं का न तो कोई बयान जारी हुआ और न आंदोलन में ही कहीं नजर आये जिसका मतलब व संदेश एकदम साफ है कि ग्वालियर चम्बल की राजनीति का ध्रुव अगले चुनावों में भी नरेन्द्र सिंह तोमर के ही आसपास केन्द्रित रहेगा और ग्वालियर चम्बल क्षेत्र नरेन्द्र सिंह तोमर की ही बिछायी गयी बिसात के तहत राजनीति में अपनी भूमिका अदा करेगा ।
खिसक गया कांग्रेस का मजबूत स्तंभ , लपक लिया बसपा ने
कांग्रेस के कद्दावर और दमदार राजपूत नेता निरंजन सिंह सिकरवार अभी चंद रोज पहले बसपा का एक बड़ा सम्मेलन करा कर बसपा में शामिल हो गये हैं । निरंजन सिंह सिकरवार मुरैना जिला की सुमावली विधानसभा क्षेत्र के ग्राम खांड़ोली के रहने वाले हैं । जाहिर है कि बसपा के सुमावली विधानसभा से अगले प्रत्याशी निरंजन सिंह सिकरवार ही होंगें । सुमावली विधानसभा में गुर्जर राजपूत व काछी कुशवाहा और ब्राह्मण समाज के लोगों का बाहुल्य व जातीय संतुलन है, यहॉं से वर्तमान में ऐदल सिंह कंसाना कांग्रेस से विधायक हैं । सुनने में आया है कि ऐदल सिंह कंसाना अगला चुनाव सुमावली से लड़ने के इच्छुक नहीं हैं और वे मुरैना विधानसभा सीट पर चुनाव लड़ने के इच्छुक हैं , मुरैना विधानसभा में इस समय परशुराम मुदगल बसपा से विधायक हैं , वहीं भाजपा से पूर्व मंत्री रूस्तम सिंह दोबारा लड़ने के इच्छुक हैं !
तय होने लगे दिमनी पर भी राजनीतिक समीकरण
अंदर से छनकर आ रही खबरों के मुमाबिक दिमनी विधानसभा पर अगले विधानसभा चुनावों में अपना प्रत्याशी बदलने जा रही है , गुपचुप चल रहे अंदरूनी सर्वे और रिपोर्टो में दिमनी विधानसभा पर भाजपा अरूण सिंह तोमर और रविन्द्र सिंह तोमर को प्रत्याशी बनाने और उनकी विजय की संभावनायें टटोल रही है ।
कांग्रेस का जारी है गोपनीय सर्वे, बदल सकते है मध्यप्रदेश कांग्रेस के पदाधकिारी
ग्वालियर चम्बल अंचल में राहुल गांधी के अति गोपनीय व खास निर्देशों पर कांग्रेस का अति गोपनीय व खास सर्वे बहुत ही उच्च स्तर के लोगों द्वारा पिछले 20 -25 दिन से जारी है । ग्वालियर अंचल की छन कर आयी कुछ गुप्त रिपोर्टो के मुताबिक कांग्रेस की सूबे में हालत बहुत खस्ता होने की चौंकाने वाली जानकारी उभर रही है वहीं चम्बल अंचल में कांग्रेस की उपस्थित या प्रभाव तकरीबन शून्य बनकर उभर रहा है फिलवक्त सर्वे जारी है सो अधिक तो कुछ नहीं कहा जा सकता लेकिन यह जाहिर है कि जो चौंकाने वाली रिपोर्टें निकल उभर कर सामने आती जा रहीं हैं उससे कांग्रेस आला कमान सन्नाटे में हैं और इस सर्वे के बाद संभव है कि कांग्रेस में बहुत बड़ा फेरबदल हो और ग्वालियर चम्बल क्षेत्र सिंधिया से छीन लिया जाये या मध्‍यप्रदेश कांग्रेस में ही बहुत बड़ा फेरबदल किया जाये । हालांकि अभी कुछ कहना जल्दबाजी ही है । 
 

शनिवार, 12 नवंबर 2011

कांग्रेस प्रदेश प्रतिनिधि मनोज पाल सिंह ने दिया लोकायुक्त को म.प्र. के खनिज घोटाले पर शिकायती शपथ पत्र, मामला दर्ज करने की मांग

विशेष प्रतिनिधि, भोपाल जिला पंचायत मुरैना के सदस्य तथा कांग्रेस के प्रदेश प्रतिनिधि मनोज पाल सिंह ने लोकायुक्त में शपथ पत्र प्रस्तुत कर जबलपुर जिले की सीहोरा तहसील के ग्राम झींटी में मंत्रियों तथा अधिकारियों की मिली भगत से लगभग 600 करोड़ रुपए के अवैध उत्खनन का आरोप लगाया है और पूरे मामले की जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। उल्लेखनीय है कि प्रदेश कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष मानक अग्रवाल की ओर से इस मामले को न्यायालय भी ले जाया गया है और कांग्रेस नेताओं ने श्यामला हिल्स थाने जाकर इसे लेकर एफआईआर दर्ज कराने की भी कोशिश की थी। पुलिस ने कांग्रेस को सूचित किया है कि यह पुलिस के अहस्तक्षेप योग्य मामला है। मनोज पाल सिंह ने लोकायुक्त को की गई शिकायत में आरोप लगाया है कि ग्राम झींटी में जिन चार कंपनियों मेसर्स पेसिफिक एक्सपोर्ट कंपनी कटनी, नरसिंह माइंस कटनी, मायाराम सिंह ग्वालियर और निवेदन भारद्वाज को खनिज का दोहन करने के लिए लौह अयस्क की खदानें स्वीकृत की गई, उसमें नियमों का पालन नहीं किया गया और आंख मूंद कर कार्यवाही की गई। इसके बाद अवैध उत्खनन की शिकायत सांसद उदय प्रताप सिंह, विधायक आरिफ अकील तथा उपनेता प्रतिपक्ष विधानसभा चौधरी राकेश सिंह द्वारा की गई। इन शिकायतों की जांच के लिए एसके मंडल कार्यपालक संचालक के नेतृत्व में जांच दल गठित किया गया, जिसने जांच में शिकायत सही पाई गई। मौके पर अवैध उत्खनन तथा आदिवासियों की जमीन का उपयोग होना जांच दल द्वारा प्रमाणित किया गया। शिकायत में कहा गया है कि पट्टा अवैधानिक तरीके से देने, अवैध उत्खनन प्रमाणित होने तथा इसमें अधिकारियों की सांठगांठ साबित होने के बाद भी सरकार द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई। मनोज पाल सिंह ने लोकायुक्त से दस्तावेजों का अवलोकन कर संबंधित व्यक्तियों के विरुद्ध उनके द्वारा किए गए भ्रष्टाचार एवं अवैध कृत्यों के लिए कानूनी कार्रवाई की मांग की है। स्कूलों में सुनाया गया प्रधानमंत्री का पत्र भोपाल। प्रदेश की सभी शासकीय शालाओं में शुक्रवार को प्रधानमंत्री का पत्र सुनाया गया। शिक्षा के हक नाम से जारी पत्र में बच्चों को शिक्षा के अधिकार के संबंध में बताया गया है। पत्र में कहा गया है कि शिक्षा का अधिकार कानून बन चुका है। शिक्षा पाने का सभी बच्चों का कानूनी अधिकार है।


शुक्रवार, 11 नवंबर 2011

उ.प्र. चुनाव के पहले हो सकता है चम्बल प्रदेश का गठन : चौबे

उ.प्र. चुनाव के पहले हो सकता है चम्बल प्रदेश का गठन : चौबे
चम्बल घाटी की जनता तैयार रहे प्रदेश गठन के लिए
राष्ट्रीय हनुमान सेना पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पृथक चम्बल प्रदेश गठन की मांग के संयोजक नरसिंह कुमार चौबे ने कहा है कि पृथक चम्बल प्रदेश की मांग एक ऐसी जनकल्याणकारी लौ में परिवर्तित हो गई है कि चम्बलांचल के निवासियों में आत्मविश्वास का एक ऐसा अनौखा प्रकाश भर गया है जो अपने आपमें एक मिशाल है, आज के परिवेश में चम्बल की वादियों में रहने वाले लोग उस उक्त का बड़ी बेसब्री से इंजतार कर रहें हैं। ऐसा लगता है कि उनकी व्याकुल और उत्साहित नजरें प्रदेश गठन को पूर्ण होने को देखने के लिए बैचेन हैं। जनता हमसे हर जगह केवल एक ही बात पूछ रही हे कि उनके पृथक चम्बल प्रदेश गठन में अब क्या देरी है।  विकास का सूरज कब चमकेगा यहां के तमाम संसाधनों का उपयोग इनके विकास में होगा, मन में भाईचार और प्यार की अनुभूति होगी। लोगों के दिल खुशियों से लबरेज होंगे तथा पूरे क्षेत्र में कहीं भी बन्दूकों की भूमिका नहीं होगी। उन्होंने कहा है कि ऐसा लगता है कि उ.प्र. के आगामी चुनाव के पहले हो सकता है पृथक प्रदेश का गठन, चम्बल घाटी की जनता तैयार रहे पृथक प्रदेश गठन के के लिए।
चौबे ने यह विचार पृथक चम्बल प्रदेश गठन की मांग के समर्थन में चलाए जा रहे चम्बल रथ यात्रा हस्ताक्षर अभियान के दौरान नगर एवं देहात में जनसमुदायों को संबोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि चम्बल घाटी विकास से कोसों दूर, उ.प्र. लखनऊ से, म.प्र. भोपाल से, राजस्थान जयपुर से बिहड़ी बाहुल्य सीमा वर्ती ऐसे जिले हैं, जो कि तीन-तीन प्रदेशों में बंटे होने के कारण राय और केन्द्र सरकार की लाखों, करोड़ों, अरबों की जन कल्याणकारी योजनाएं आती रहीं है, औ्रर सीमावर्ती जिले होने के कारण दम तोड़ती रहीं, जिसमें न उस पार के लोगों को कोई लाभ मिला और न ही इस पार के लोगों को, इसलिए म.प्र. मालवा से चली चम्बल चम्बलांचल में हुई कलंकित।
चौबे ने कहा है कि पृथक चम्बल प्रदेश की ऐसी जनकल्याणी मांग है, चम्बलांचल में पृथक प्रदेश गठन से ही होगा विकास। अभी तक एक प्रदेश को विभाजन करके प्रदेश गठन होते रहें हैं। चाहे छत्तीसगढ़ हो या उत्तराखण्ड, झारखण्ड हो या तेलंगाना या विदर्भ की मांग चल रही हो। यह सभी एक ही राय के टुकड़े होकर पृथक प्रदेश गठन होते रहे हैं। पृथक चम्बल प्रदेश गठन की मांग एक ऐसी जन कल्याणकारी मांग है जिसमें सीमावर्ती 21 जिलों को मिलाकर पृथक प्रदेश गठन की मांग की गई है। जिसमें उ.प्र. से आगरा, फिरोजाबाद, मैनपुरा, इटावा, औरैया, जालौन, झांसी तथा ललितपुर, म.प्र. से गुना, शिवपुरी, अशोक नगर, दतिया, ग्वालियर, मुरैना, श्योपुर और भिण्ड, राजिस्थान से धौलपुर, सवाई माधौपुर, कोटा, बारा, झालावाद, पृथक चम्बल प्रदेश में सम्मलित किए गए हैं।
 चौबे ने संबोधित करते हुए कहा कि हस्ताक्षर अभियान से कोई भी वंचित नहीं रहेगा। राष्ट्रीय हनुमान सेना पार्टी द्वारा चम्बलांचल की समस्याओं एवं निदान के मुख्य बिन्दुओं को लेकर राष्ट्रीय हनुमान सेना पार्टी 27 दिसम्बर 1999 से पृथक चम्बल प्रदेश गठन एवं पचनदा बांध के निर्माण की मांग के समर्थन में चम्बल रथ यात्रा, हस्ताक्षर अभियान चलाया जा रहा है। अब केन्द्र सरकार ने 25 अक्टूबर 1983 की पचनदा परियोजना को अब 60 करोड़ रुपए देकर मांग को मान लिया है। अब पृथक चम्बल प्रदेश गठन की मांग के समर्थन में चम्बल रथ यात्रा हस्ताक्षर अभियान चलाया जा रहा है, एक करोड़ हस्ताक्षर का लक्ष्य रखा गया है। जिसमें 60 लाख हस्ताक्षर हो चुके हैं शेष 40 लाख हस्ताक्षर पूर्ण होने पर दिल्ली जाकर महामहिम राष्ट्रपति महोदय को ज्ञापन दिया जाएगा। चम्बलांचल की जनता तैयार रहे, इस अभियान की कोई समय सीमा निर्धारित नहीं की गई है, हस्ताक्षर अभियान को सफल बनाने के लिए प्रत्येक परिवार के एक सदस्य को आगे आना होगा।

रविवार, 30 अक्तूबर 2011

गर्व से कहो ''तुम'' हिन्दू हो .....नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनन्द''

गर्व से कहो तुम हिन्दू हो ........
नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनन्द''
 
राजा वह जो न्याय करे, धर्म वह जो धारण हो, कर्म वह जो कारण हो, गुण वह जो त्रयगुणातीतो हो, राजपूत राजा देव अवतार होता है उसमें देव अंश रहता है, समदर्शिता उसका प्रधान लक्षण है जो समदर्शी नहीं वह प्रभु भक्त नहीं, प्रभु का प्रधान गुण है धर्म की रक्षा, धर्म मगर कौनसा ? क्या हिन्दू धर्म ... किस शास्त्र में वर्णित है शब्द हिन्दू या हिन्दू धर्म ? किस गंथ या शास्त्र या किस राजा ने घोषित किया है एक समुदाय को हिन्दू ? जब हमारा राज्य था महाभारत पर , दिल्ली पर तब तक तो तुम कोई भी नहीं थे हिन्दू .... तुर्क आये मुगल आये उन्होंनें तुम्हारा हिन्दू ... तुम्हें कहा गुलाम और दास ... सारी गुलामी और दासत्व को एक नाम दे दिया हिन्दू .... और तुमने उसे सीने से चिपका लिया , गौरवान्वित होकर एक गुलाम तमगा हिन्दू शब्द पाकर ... कहते हो सबसे कि ''गर्व से कहो हम हिन्दू है'' ... अपनी मुगल और तुर्क गुलामी व दासता का बड़े गौरव से प्रचार करते हो ... जब अपने कुल के न हो सके तुम, अपनी खुद की मॉं के न हो सके, अपने वंश और अपने राजा के न हुये तो मातृभूमि के कैसे हो सकते हो .... जाओ विचार करो ... हम थे दिल्ली के राजा ... भारत के राजा .. महाभारत के राजा ... दिल्ली और आजाद भारत के आखरी हिन्दू राजा और राजवंश ... हमने तो नहीं दिया ये ''हिन्दू'' नाम तुम्हें .... उल्टे जो तुम्हारे भाई बंधु वंश व मातृभूमि के लोग जबरन धर्म परिवर्तन करा मुसलमान बना दिये उन्हीं अपने भाईयों को आज गालियां देते हो , उनकी बहिन बेटियों की आबरू लूटते हो , कत्ल कर देते हो ... धिक्कार है ... अपने ही लहू को नहीं पहचानते ... फिर गर्व से ये और कहते हो मातृभूमि ... किसकी नहीं है ये मातृभूमि .... क्या यही है श्रीकृष्ण और अर्जुन का बनाया हुआ महाभारत जहॉं दो तिहाई विश्व , और भूभाग ही नहीं , संस्कृति, सभ्यता और भाषाओं , जातियों, समुदायों को मिला कर एक कर दिया था, हर भारत भरतवंशी श्रीकृष्‍ण , अर्जुन और पांडव के वंशज के लिये समूची धरा ही मातृभूमि है और वसुधैव कुटुम्बकम इस वंश का सूत्र है .... ध्यान रहे यह सम्पूर्ण धरा मातृभूमि है ... धर्म के जो चार चरण हैं उन्हें भुला कैसे दिया तुमने ... चार प्रकार के धर्मों का वर्णन है उसे भुला कैसे दिया तुमने ... धर्म जन्म से नहीं प्राप्त होता .. धारण किया जाता है उसे भुला कैसे दिया तुमने ... आज के राजाओं का भी पूर्ण वर्णन शास्त्रों और ग्रंथों में है ... मगर अफसोस ... शास्त्रों और ग्रंथों का इन एक भी अर्जी फर्जी नेताओं / आज के राजाओं को ज्ञान नहीं है ... अगर भूले से भी एक बार भी शास्त्र या ग्रंथ पढ़ लेंगें तो ये खुद को हिन्दू कहना तत्काल उसी वक्त से बंद कर देंगें और संपूर्ण धरा इनकी मातृभूमि और समचा विश्व इनका साम्राज्य और पुन: महाभारत की स्थापना एवं भारत का समूचे विश्व पर एकक्षत्र निष्कंटक राज्य होगा ...


मंगलवार, 18 अक्तूबर 2011

चम्बल के प्रसिध्द व्यक्तियों एवं स्थानों का इंटरनेट पर बृहदकोश बन कर ऑन लाइन होगा

चम्बल के प्रसिध्द व्यक्तियों एवं स्थानों का इंटरनेट पर बृहदकोश बन कर ऑन लाइन होगा
मुरैना 16 अक्टूबर 2011, अंचल की प्रसिध्द वेबसाइट ग्वालियर टाइम्स के मुख्य कार्यकारी अधिकारी एवं प्रधान संपादक समाजसेवी एडवोकेट नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनंद'' द्वारा प्रेस को जारी विज्ञप्ति में बताया गया है कि वेब पोर्टल ग्वालियर टाइम्स और सवयंसेवी संस्था नेशनल नोबल यूथ अकादमी संयुक्त रूप से चम्बल के महवपूर्ण जाने माने प्रसिध्द प्रख्यात लोगों/विद्वानों/स्थानों को ऑनलाइन सूचीबध्द कर एक बृहद कोश तैयार कर रही है, जिसमें चम्बल के मूल निवासी द्वारा किसी भी क्षेत्र में महत्वपूर्ण, उल्लेखनीय कार्य या विशेष उपलब्धिपूर्ण कार्य किया गया हो, या जिन लोगों का ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, साहित्यिक, बौध्दिक क्षेत्र में विशिष्ट योगदान हो या ऐसे स्थान व स्थल जो चम्बल क्षेत्र में मौजूद हों या रहे हों जिनका ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, साहित्यिक, विशिष्ट धार्मिक महत्व हो को इस बृहद कोश में स्थान दिया जायेगा ! सूची में दो श्रेणियां रहेंगीं आम चर्चित श्रेणी एवं दूसरी प्रायोजित चर्चित श्रेणीी, आम चर्चित श्रेणी में सारा प्रकाशन निशुल्क किया जायेगा जबकि प्रायोजित चर्चित श्रेणी में प्रकाशन का शुल्क देना होगा ! तैयारशुदा एवं ऑनलाइन प्रकाशित समस्त सूची एवं बृहद कोश को एक पुस्तिका रूप में भी वर्ष सन 2013 में मुद्रित कर प्रकाशित कराया जायेगा जो कि बाजार में विक्रय हेतु उपलब्ध हो सकेगी !
श्री तोमर ने चम्बल क्षेत्र के निवासी लोगों से इस संबंध में जानकारी एवं ब्यौरा आहूत किया है, वे लोग या स्थान जो इस सूची एवं बृहद कोश में जुड़ने की पात्रता रखते हों या जिनके पास इस संबंध में जानकारी उपलब्ध हो वे अपनी जानकारी व ब्यौरा नरेन्द्र सिंह तोमर एडवोकेट गांधी कालोनी मुरैना के पास अथवा ई मेल से gwaliortimes@gmail.com दिनांक 15 नवंबर 2011 तक जमा करा सकते हैं !
ब्यौरा जमा करने का फार्म नरेन्द्र सिंह तोमर एडवोकेट से या ई मेल से प्राप्त किया जा सकता है, सुदूरस्थ लोग इसे ग्वालियर टाइम्स की वेबसाइट या ग्वालियर टाइम्स के फेसबुक ग्रुपों या फेसबुक पेजों या गूगल डॉट कॉम पर ग्वालियर टाइम्स के पेज से डाउनलोड कर सकते हैं ! 

गुरुवार, 13 अक्तूबर 2011

कालेधन के खिलाफ कालेधन से ही हो रही आडवाणी की यात्रा पर कांग्रेस ने हल्ला बोला 10 सवाल पूछकर मांगा जवाब


 कालेधन के खिलाफ कालेधन से ही हो रही आडवाणी की यात्रा पर कांग्रेस ने हल्ला बोला 10 सवाल पूछकर मांगा जवाब
भोपाल 12 अक्टूबर। प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता के.के. मिश्रा ने राजनीति में स्वच्छता लाने, भ्रष्टाचार और कालेधन के खिलाफ कथित तौर पर पवित्र भावनाओं को लेकर कल से भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणाी की जन-चेतना यात्रा के प्रदेश प्रवेश का अतिथि देवौभव: के अनुरूप स्वागत तो किया है परन्तु उसके औचित्य पर भी कई सवाल उठाते हुए कहा है कि कालेधन के खिलाफ कालेधन का ही उपयोग कर आडवाणी इस यात्रा के माध्यम से क्या व कौन सा संदेश देना चाहते है? उन्होंने आरोप लगाया है कि मध्यप्रदेश में जिस यात्रा का खर्च जे.पी. सीमेन्ट के मालिक सन्नी गौर उठा रहे हो वहां भ्रष्टाचार और कालेधन के खिलाफ भाजपा और आडवाण्ाी की मंशा स्वत: स्पष्ट हो रही हैं!
मिश्रा ने आज यहां जारी अपने बयान में आडवाणी पर दस सामायिक,विचारणीय और ज्वलंत प्रश्नों की बौछार करते हुए राजनैतिक शुचिता, भ्रष्टाचार और कालेधन की समस्या से आह्त प्रदेशवासियों की ओर से इन प्रश्नों का जवाब मांगा है : -
1.आपने इस यात्रा को गुजरात में सरदार पटेल की जन्मस्थली से प्रारंभ करने का आगाज़ किया था, क्या कारण है कि इस स्थान और प्रान्तको बदल कर बिहार में जयप्रकाश नारायण की जन्मस्थली से इस यात्रा को प्रारंभ करना पड़ा?
2.यात्रा में निहित उद्देश्यों के यदि आप और आपकी पार्टी पक्षधर है तो क्या कारण है कि गुजरात में लोकायुक्त की नियुक्ति का आप और आपकी पार्टी ने पुरजोर विरोध किया?
3.एन.डी.ए. सरकार के दौरान 6 वर्षो तक आप देश के गृहमंत्री और उप-प्रधानमंत्री जैसे महत्वपूर्ण ओहदे पर रहे किन्तु इन मुद्दों पर तब आपकी रूचि क्यों नही?
4.भ्रष्टाचार के गंभीर मामलों को लेकर लोकायुक्त की टिप्पणी के बाद हटाये गये मुख्यमंत्री येदियुरप्पा और अवैध धन कमाने वाले 8 हजार करोड़ी रेड्डी बंधुओं को आपकी पार्टी के भीतर संरक्षण देने वाले कौन है?
5.आपकी यात्रा के संयोजक भाजपा के राष्ट्रीय महामंत्री अनंतकुमार है। 2जी स्पेक्ट्रम घोटाले की नायिका नीरा राडिया से उनकी सम्बध्दता और एन.डी.ए. सरकार के दौरान मंत्री पद पर रहते हुए उनके द्वारा किये गये 14 हजार करोड रूपयों के हुडको घोटाले को लेकर आपका अभिमत क्या है?
6.क्या यह सच नहीं हैं कि कालेधन को लेकर एस. गुरूमुर्ति की टास्कफोर्स के दावों के पूर्व आपने ही एक पत्रकार-वार्ता में जो बाते कहीं थी उसके बाद यू.पी.ए. अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी को पत्र लिखकर आपने माफी मांगी, ऐसा क्यों?
7.भ्रष्टाचार के मामले में अब तक आप और आपकी पार्टी ने सिर्फ क्वात्रोची और हसनअली का ही नाम लिया है शाहिद बलवा का नाम लेते हुए आप और आपकी पार्टी खामोश क्यों है?
8.कल यानि 13 अक्टूबर को जिस मध्यप्रदेश में आपकी यात्रा का आगाज़ हो रहा हैं वहां मुख्यमंत्री सहित दो पूर्व मंत्री, 8 मंत्री, 49 आयएएस, 8 आयपीएस, 8 आयएफएस और 111 अन्य नौकरशाहों के खिलाफ लोकायुक्त संगठन में भ्रष्टाचार के गहन गंभीर व प्रामाणिक मामलों को लेकर प्रकरण दर्ज है। दागी मंत्रियों को लेकर आपका अभियान सिर्फ केन्द्र सरकार तक ही सीमित क्यों रहता है, इस विषयक मध्यप्रदेश को लेकर आपकी खामोशी और कई भ्रष्टतम मंत्रियों को आप सहित भाजपा के अन्य राष्ट्रीय नेताओं का संरक्षण किस बात का प्रतीक हैं?
 
 
9.मध्यप्रदेश के एक आयएएस दम्पत्ति अरविन्द-टीनू जोशी के निवास पर पड़े छापों में 350 करोड़ रूपयों की अकूत सम्पत्ति सामने आई है, भाजपा शासित राज्य सरकार उनके खिलाफ अब तक नरम रूख अपनाए हुए हैं, ऐसा क्यो? शायद इसलिए कि उनके पिता और प्रदेश के पूर्व आयपीएस एच.एम. जोशी गत् वर्षो भोपाल में सम्पन्न राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के समागम समारोह के न केवल प्रमुख थे बल्कि इन अवैध सम्पत्तियों में उनकी भागीदारी के भी दस्तावेज बरामद हुए हैं। क्या संघ के लोग भी भ्रष्टाचार करते है?
10.आप और आपकी पार्टी राजनैतिक शुचिता की कथित दुहाई तो देती है, किन्तु रायपुर (छत्तीसगढ) में रामानंद - राजेश अग्रवाल से सम्बध्द महामाया ग्रुप पर आयकर के छापों के दौरान करोड़ों रूपयों की टेक्स चोरी हाल ही में पकड़ी गई है। वे भाजपा के व्यापारी प्रकोष्ठ के पदाधिकारी है। इसी प्रकार मध्यप्रदेश में भी के.एस. ऑईल मिल के मालिक रमेश गर्ग हैं, जिन्हे गत् वर्षो मध्यप्रदेश सरकार ने भामाशाह अवार्ड से नवाजा था। इसके बाद वे करोड़ाें रूपयों की टेक्स चोरी के आरोपी के रूप में सामने आये और भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष प्रभात झा ने उन्हे मध्यप्रदेश भाजपा व्यापार प्रकोष्ठ का संयोजक बना दिया है। यही नहीं आर.जी.पी.वी. में एक साधारण शिक्षक रहे भोपाल के डॉ. सुधीर शर्मा जो इन दिनों करोड़ों-अरबों रूपयों के मालिक हैं, जो भाजपा के कार्यकर्ता भी नहीं थे उसके बावजूद भी उन्हें झा ने प्रदेश भाजपा के शिक्षा प्रकोष्ठ का संयोजक नियुक्त कर डाला है। इनकी सम्पत्तियों की यदि चर्चा की जाए तो आज वे वी.एन.एस. ग्रुप ऑफ एज्युकेशनल इन्स्टीटयुट भोपाल, उत्तम एग्रो भोपाल, आर्किट बॉयोटेक प्रा.लि. रूड़की (उत्तराखंड), एस.आर. फॉर्मूलेशन इंडिया प्रा.लि. मुम्बई, एस.आर. फेरो अलॉय कजली, मेघनगर जिला झाबुआ के चेअरमेन हैं और इनसे सम्बध्द उक्त सारे कॉर्पोरेट आफिस वे भोपाल से ही संचालित कर रहे है। एकाएक इनकी आर्थिक समृध्दि का कारण क्या है, उन्हें किन भाजपा नेताओं का संरक्षण प्राप्त है? हाल ही के वर्षो में उक्त नवधनाढयों को राजनैतिक सम्मान से नवाजने के पीछे भाजपा प्रदेशाध्यक्ष की कौन सी मजबूरी या ईमानदारीपूर्ण इच्छाशक्ति छुपी हुई है?


बुधवार, 12 अक्तूबर 2011

म.प्र. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया के खिलाफ वारण्ट जारी, देना पड़ सकता है प्रदेश अध्यक्ष पद से इस्तीफा .


म.प्र. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया के खिलाफ वारण्ट जारी, मामला राष्ट्रीय ध्वज अपमान का : कांतिलाल भूरिया को देना पड़ सकता है प्रदेश अध्यक्ष पद से इस्तीफा .... पहले दे चुकी है इसी बात पर मुख्यमंत्री पद से उमाभारती इस्तीफा
Damoh, MP, Oct 11 : A local court today issued a bailable warrant against Madhya Pradesh Congress Committee president and former Union Minister Kantilal Bhuria who is charged with insulting the National Flag.
While hearing a plea by Nitin Mishra and Sanjay Sawriya, Judicial Magistrate Suresh Singh Jamra registered a case under the Prevention of Insults to National Honour Act and set the bail amount at Rs 5,000.

On May 25, the Tricolour -- affixed to the vehicle that conveyed Mr Bhuria to a Congress convention in Tendukheda -- was allegedly torn at the bottom. The petitioners informed the Congress leader who turned Nelson's eye to the matter and left the venue in the same vehicle sans having the flag changed.






शनिवार, 8 अक्तूबर 2011

अजय सिंह ''राहुल'' 10 अक्टूबर को किसान सम्मेलन में भाग लेंगे


अजय सिंह ''राहुल'' 10 अक्टूबर को किसान सम्मेलन में भाग लेंगे
 
भोपाल 07 अक्टूबर । विधान सभा में नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह 9 अक्टूबर को भोपाल से रेवांचल एक्सप्रेस द्वारा सतना प्रस्थान करेंगे और अगले दिन 10 अक्टूबर को प्रात: 6.40 बजे वहां पहुंचेंगे। वे सतना से कार द्वारा सुबह 9.30 बजे रवाना होकर दोपहर 12 बजे भरतपुर-चुरहट पहुंचेंगे और वहां किसान सम्मेलन में भाग लेंगे तथा किसानों को कृषि सामग्री एवं बीज वितरण करेंगे। तत्पष्चात् वे अपरान्ह 4 बजे भरतपुर-चुरहट से कार द्वारा सीधी के लिए रवाना होंगे और शाम 5 बजे वहां पहुंचेंगे। आप सीधी में आदिवासी स्वाभिमान चेतना रैली की तैयारियों के संबंध में आयोजित जिला कांग्रेस की बैठक में भाग लेंगे।
अजयसिंह 10 अक्टूबर को रात 9 बजे सीधी से रवाना होकर 10 बजे चुरहट पहुंचेंगे। तीसरे दिन 11 अक्टूबर को वे चुरहट विधानसभा क्षेत्र में जनसंपर्क करेंगे। वे वहां से शाम 5 बजे रवाना होकर 7 बजे सतना पहुंचेंगे। सतना से वे रेवांचल एक्सप्रेस द्वारा रात 8.50 बजे भोपाल के लिए प्रस्थान करेंगे और   12 अक्टूबर को प्रात: 5.45 बजे भोपाल लौटेंगे।


शुक्रवार, 7 अक्तूबर 2011

विश्व नेतृत्व भारत करेगा किंतु देश को जरूरत है एक फौलादी इरादों और दूरदृष्टि से युक्त सृजनशील नेतृत्व की- नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनन्द''


विश्व नेतृत्व भारत करेगा किंतु देश को जरूरत है एक फौलादी इरादों और दूरदृष्टि से युक्त सृजनशील नेतृत्व की
नरेन्द्र सिंह तोमर ''आनंद''
वि‍श्‍व नेतृत्व और भारत (भाग-1)
आज देश के सामने बार बार एक प्रश्न उभर कर सामने आ रहा है कि वर्तमान परिस्थितियों में भारत का नेतृत्व आखिर किसे संभालना चाहिये, कौन वो बेहतरीन शख्स है जो वर्तमान समस्याओं के झंझावात से देश को तुरंत बाहर निकाल कर विकास के सुनहरे पथ पर आगे बढ़ा सकता है । अनेक नाम समय समय पर राजनीतिक दल एवं सामाजिक क्षेत्रों द्वारा सुझाये जाते हैं परंतु सवाल ये है कि इन सबमें एक बेहतरीन नेतृत्व कौनसा है ।
कैसा हो भारत का भावी नेतृत्व
भारत के भावी नेतृत्व के पास तमाम गुणों का संचय होना आवश्यक है, केवल राजनीतिक पथ पर सफल सफर करते आ रहे और चुनावों को जीतते आ रहे राजनेता को इस नेतृत्व के काबिल नहीं माना जा सकता । नेतृत्व एक कुशल प्रशासनिक क्षमता और दृढ़ संगठनात्मक क्षमता का नाम है, जो कि अधिकांश नेताओं में उपलब्ध नहीं है ।
भारत का नेतृत्व निसंदेह ऐसे सबल हाथों में होना चाहिये जो बहुत आगे की और कई साल आगे की सोच रखता हो और उसकी हर सोच की बुनियाद भारत के प्राचीनतम गौरवशाली इतिहास और संस्कृति से होकर आती हो । दुर्भाग्यवश भारत के पास आज तक ऐसे नेताओं का अभाव है जो भारत के प्राचीनतम इतिहास एवं संस्कृति की बुनियादों से नवीनतम अत्याधुनिक व बहुत आगे तक की सोच रखते हों । अफसोस जनक बात यह है कि आज के दौर में चमकते दमकते नाम वाले राजनेताओं में तकरीबन हर नेता किसी न किसी दायरे में बंधा हुआ है एक संकीर्ण वैचारिक और मानसिक घेरे में कैद है ।
इन राजनेताओं के पास निसंदेह भारत की वर्तमान समस्याओं का न तो इलाज है और न देश को आगे ले जाने की क्षमता ।
आज जब समूचा विश्व भारत की ओर विश्व का नेतृत्व करने की गुहार टकटकी लगा कर कर रहा है ऐसी सूरत में भारत की महानतम मानसिक, आध्यात्मिक , सांस्कृतिक ऐतिहासिक सृजनात्मक शक्ति ही केवल समूचे विश्व का तेजमयी नेतृत्व कर सकती है ।
इसमें कोई शक ही नहीं भारत में वह क्षमता है जो समूचे विश्व को एक झटके में संकट से बाहर निकाल कर विश्व बंधुत्व एवं ब्रह्माण्डीय ऊर्जा का प्रमुख स्त्रोत के रूप में विकसित कर सकता है । मगर अफसोस यह है कि आज के भारत में हमें कोई नेता दूर दूर तक नजर नहीं आ रहा जो भारत की इस असल शक्ति से युक्त हो विश्व नेतृत्व की चुनौती स्वीकार कर सके ।
क्रमश: जारी रहेगा अगले अंक में  


अ.भा. कांग्रेस कमेटी द्वारा प्रदेश कांग्रेस की 139 सदस्यीय प्रबंध समिति की घोषणा


अ.भा. कांग्रेस कमेटी द्वारा प्रदे कांग्रेस की 139 सदस्यीय प्रबंध समिति की घोषणा
अनुशासन समिति, मानीटरिंग समिति और मीडिया विभाग भी गठित
 
भोपाल 07 अक्टूबर । अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी की स्वीकृति से पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव जनार्दन द्विवेदी ने आज दिल्ली में म.प्र. प्रदेष कांग्रेस कमेटी 139 सदस्यीय प्रबंध समिति , अनुषासन समिति, मानीटरिंग समिति और मीडिया विभाग के सदस्यों की घोषणा भी कर दी है। इस घोषणा द्वारा अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी ने प्रदेष कांग्रेस के अंतर्गत 11 उपाध्यक्ष, 16 महासचिव तथा 48 सचिव नियुक्त किये हैं। प्रबंध समिति में 51 सदस्य शामिल किये गये हैं। पूर्व में नियुक्त कार्यालय प्रभारी शांतिलाल पडियार, संगठन प्रभारी कैप्टन जयपाल सिंह, मीडिया प्रभारी प्रमोद गुगालिया तथा दौरा कार्यक्रम एवं चुनाव प्रबंधन प्रभारी संजय दुबे यथावत रहेंगे। वरिष्ठ कांग्रेस नेता गोविंद गोयल को पीसीसी का कोषाध्यक्ष बनाया गया है। उपाध्यक्ष, महासचिव, सचिव, प्रबंध समिति, विषेष आमंत्रित तथा मीडिया विभाग की नियुक्तियों में समाज के सभी वर्गों को बराबर का प्रतिनिधित्व दिया गया है, जिनमें सामान्य वर्ग के 57, पिछड़ा वर्ग के 35, अनुसूचित जनजाति के 12, अनुसूचित जाति के 11 और मुस्लिम, सिक्ख, ईसाई जैन आदि अल्पसंख्यक वर्ग के 33 सदस्य शामिल हैं। साथ ही 22 महिलाओं को भी इन नियुक्तियों में प्रतिनिधित्व मिला है।
अ.भा. कांग्रेस कमेटी के महासचिव एवं प्रदेष प्रभारी बी.के. हरिप्रसाद, प्रदेष कांग्रेस अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया ने नव नियुक्त पदाधिकारियों, प्रबंध समिति और अन्य समितियों तथा मीडिया विभाग के सभी सदस्यों को बधाई और शुभकामनाएं दी हैं। भूरिया ने कहा है कि श्रीमती सोनिया गांधी की शुभकामनाओं के साथ गठित प्रबंध समिति, अन्य समितियों में और पदाधिकारियों की नियुक्तियों में ऊर्जावान, परिश्रमी और प्रतिबध्द नेताओं को शामिल किया गया है। ये सभी अब सोनिया जी, प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह और युवा नेता राहुल गांधी के दिषा निर्देष के अनुसार म.प्र. में मिषन-2013 के अंतर्गत कांग्रेस को पुन: सत्ता में लाने हेतु कार्य करेंगे। आपने कहा है कि प्रदेष कांग्रेस कमेटी की ये नियुक्तियां प्रदेष के सभी वरिष्ठ नेताओं के सामंजस्य से और उनकी सलाह को ध्यान में रखते ही की गईं हैं।
 
प्रबंध समिति
प्रबंध समिति - कांतिलाल भूरिया, अजयसिंह, बिसाहूलाल सिंह (विधायक)-अनूपपुर, आरिफ अकील (विधायक)-भोपाल, तुलसी सिलावट (विधायक)-इंदौर, विष्वनाथ दुबे-जबलपुर, अरूणोदय चौबे (विधायक)-सागर, राजीव सिंह-भोपाल, श्रीमती चंद्रभाग किराड़े-बड़वानी, श्रीमती आभासिंह-भोपाल, श्रीमती पुष्पा बिसेन-बालाघाट, घनष्याम पाटीदार-नीमच, बाला बच्चन (विधायक)-बड़वानी, डॉ. प्रभुराम चौधरी (विधायक)-रायसेन, सत्यदेव कटारे-भिण्ड, जी.एम. राईन (भूरे पहलवान)-जबलपुर, रवि जोषी-खरगोन, सुनील सूद-भोपाल, संजय पाठक (विधायक)-कटनी, सुखदेव पांसे (विधायक)-बैतूल, राजेन्द्र मिश्रा-रीवा, अषोक सिंह-ग्वालियर, पी.डी. अग्रवाल-इंदौर, श्रीमती मनीषा दुबे-दमोह, डॉ. तनिमा दत्ता-भोपाल, श्रीमती गीतासिंह-सिवनी, श्रीमती शषि राजपूत-भोपाल, हैदरयार खान-भोपाल, ईष्वरसिंह चौहान-भोपाल, गुरूप्रसाद अरोरा-झाबुआ, नवीन दुबे-षाजापुर, श्रीनिवास तिवारी-रीवा, धर्मेष घई-सतना, राजेन्द्र मंडलोई-भोपाल, विजयसिंह गौतम-उज्जैन, अमरराज सोनकर-जबलपुर, जितेन्द्रसिंह ठाकुर-भोपाल, भरत रघुवंषी-इंदौर, राजेन्द्र जैन-धार, राजू भदौरिया-इंदौर, डॉ. रतन जायसवाल-इंदौर, इम्तियाज बेलिम-इंदौर, निषिथ पटेल (विधायक)-जबलपुर, प्रतापसिंह गुर-उज्जैन, सुनील थेपाडिया-अलीराजपुर, मजहर हुसैन सेठजीवाला-इंदौर, निषंक कुमार जैन-विदिषा, राकेष राय-सीहोर, चौधरी राकेष जैन-जबलपुर, रत्नेष मरावी-भोपाल तथा रमेष चौधरी-जबलपुर। 

प्रबंध समिति के विषेष आमंत्रित सदस्य - श्रीनिवास तिवारी, प्रेमनारायण मिश्रा, डॉ. गोविंद सिंह (विधायक), गुफराने आजम, अब्दुल सरूर, बी.एस. शर्मा, निजामउद्दीन अंसानी, श्रीमती विभा पटेल, मोहम्मद सलीम, सुरेष सेठ, रामेष्वर पटेल, कृपाषंकर शुक्ला, रामलाल यादव, चंद्र प्रभाष शेखर, श्रीमती निर्मला शर्मा, नन्नेलाल धुर्वे, डॉ. संजय चौधरी, लक्ष्मी बेन, विष्णुषंकर पटेल, देवेन्द्र तेकाम, नवकृष्ण पाटिल, बापूसिंह तंवर, प्रकाष जैन, सुनील जैन, नारायण त्रिपाठी, सईद अहमद, रामनिवास रावत (विधायक), मनोहर बैरागी, बालेष्वर दयाल, बटुकषंकर जोषी, षिव लष्करी, श्रीमती शकुंतला प्रधान, रघुवीर सूर्यवंषी, षिवदयाल बागड़ी, मार्को बाबा, शैलेन्द्र एंड्रूज, राकेष कटारे, घनष्याम शर्मा, हरिप्रकाष खरे तथा भारती टंक। इनके अलावा म.प्र.के सभी पूर्व कांग्रेस मुख्य मंत्री, प्रदेष कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष, म.प्र. के कांग्रेस पक्ष के संसद सदस्य एवं विधायक और म.प्र. से अ.भा. कांग्रेस कमेटी के पदाधिकारी भी विषेष आमंत्रित सदस्य होंगे।
उपाध्यक्ष, महासचिव एवं सचिव
प्रदेष कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष - तुलसी सिलावट (विधायक), बिसाहूलाल सिंह (विधायक), आरिफ अकील (विधायक), अरूणोदय चौबे (विधायक), राजीव सिंह, सुंदरलाल तिवारी, घनष्याम पाटीदार, श्रीमती पुष्पा बिसेन, विष्वनाथ दुबे, श्रीमती चंद्रभागा किराडे तथा श्रीमती आभा। 
प्रदेष कांग्रेस कमेटी के महासचिव - बाला बच्चन (विधायक), डॉ. प्रभुराम चौधरी (विधायक), निषिथ पटेल (विधायक), सत्यदेव कटारे, रवि जोषी, संजय पाठक (विधायक), सुनील सूद, राजेन्द्र मिश्रा, सुखदेव पांसे (विधायक), अषोक सिंह, श्रीमती शषि राजपूत, पी.डी. अग्रवाल, श्रीमती मनीषा दुबे, डॉ. तनिमा दत्ता, जी.एम. राईन (भूरे पहलवान), तथा श्रीमती गीता सिंह और सचिव - निमिष व्यास-रतलाम, सौरभ शर्मा-जबलपुर, शषांक भार्गव-विदिषा, संजय शुक्ला-इंदौर, अरविंद जोषी-इंदौर, सुरेन्द्र शर्मा-ग्वालियर, प्रकाष वषिष्ठ-हरदा, श्रीमती नूतन पांडे-जबलपुर, धीरज तिवारी-पन्ना, रज्जी जॉन-रीवा, जैरी पॉल-भोपाल, स्वदेष जैन-सागर, विकल्प डेरिया-होषंगाबाद, अनिल संचेती-मंदसौर, नासिर इस्लाम-भोपाल, हफीज कुरैषी-उज्जैन, अब्दुल रज्जाक खान-भोपाल, श्रीमती शबाना सोहेल-देवास, शोहराब पटेल-इंदौर, जीतू पटवारी-इंदौर, कमलेष्वर पटेल-सीधी, जगदीष सैनी-जबलपुर, राजेन्द्र गहलोत-रतलाम, सुरेष राय-नरसिंहपुर, जोधाराम गुर्जर-भोपाल, जयसिंह-देवास, रविन्द्र महाजन-बुरहानपुर, आर.के. डोगने-हरदा, श्रीमती अंजू बघेल-जबलपुर, संजय यादव-जबलपुर, शांतिलाल गामी-देवास, हरीष अरोरा-षहडोल, रघु परमार-इंदौर, डॉ. महेन्द्रसिंह चौहान-भोपाल, राजेन्द्र सिंह ठाकुर-बीना, श्रीमती दीप्तिसिंह-भोपाल, श्रीमती सरोजसिंह-षाजापुर, कुंदन मालवीय-खंडवा, कमल वर्मा-इंदौर, श्रीमती पुष्पा चौहान-उज्जैन, श्रीमती इमरतीदेवी सुमन-ग्वालियर, हरचरणसिंह भाटिया-बड़वानी, परमजीतसिंह नारंग-खंडवा, नवीन बजाज-भोपाल, सुश्री कौषल्या गोटिया-जबलपुर, सुश्री कलावती भूरिया-झाबुआ, रवि सक्सेना-भोपाल तथा श्रीमती शीला धूलधोये।
मीडिया विभाग
प्रदेष कांग्रेस का मीडिया विभाग - मानक अग्रवाल-अध्यक्ष और प्रवक्ता-प्रमोद गुगालिया, के.के. मिश्रा, जे.पी. धनोपिया, अभय दुबे, मुजीब कुरैषी, डॉ. तनिमा दत्ता, श्रीमती कल्याणी पांड़े, राजा पटेरिया और श्रीमती नूरी खान।
अनुशासन समिति
प्रदेष कांग्रेस की अनुषासन समिति - हजारीलाल रघुवंषी-अध्यक्ष और सदस्य-महेष जोषी, रामेष्वर नीखरा, प्रताप भानु शर्मा, सुरेन्द्र सिंह ठाकुर, महेन्द्र बौध्द, मुजीब कुरैषी, श्रीमती प्रीति भार्गव, विनोद डागा, दीपचंद यादव और रमेष घोसी।
मानीटरिंग समिति
प्रदेष कांग्रेस की मानीटरिंग समिति - केंद्र की यूपीए सरकार द्वारा म.प्र. के लिए स्वीकृत प्रमुख जनकल्याणकारी ध्वजवाहिनी कार्यक्रमों की मानीटरिंग के लिए गठित समिति-राधाकिषन मालवीय, सूरजभान सिंह (धार), गोविंद राजपूत, विट्ठल भाई पटेल, अजीज कुरैषी, मुकेष नायक, खुर्षीद अनवर, राजेन्द्र यादव, अषोक जैन भाभा, श्रीमती महजबीन खान, मान दाहिमा, के.पी. सिंह, चंद्रभान सिंह (दमोह), महावीर प्रसाद वषिष्ठ, नरेन्द्र नाहटा, श्रीमती किरण जिरेती, श्रीमती पुष्पा भारती, सत्यनारायण पंवार, इब्राहिम कुरैषी तथा हरिवल्लभ शुक्ला।