शनिवार, 25 दिसंबर 2010

मुरैना में बिजली कटौती २० घण्‍टे प्रतिदिन पर पहुंची : शुरू हुयी अब रात्रि कालीन बिजली कटौती भी

संभागीय मुख्‍यालय मुरैना में बिजली कटौती २० घण्‍टे प्रतिदिन पर पहुंची : शुरू हुयी अब रात्रि कालीन बिजली कटौती भी

मुरैना/ ग्‍वालियर 25 दिसम्‍बर २०१० .  इससे पूर्व 17 दिसम्‍बर 2010, 14 दिसम्‍बर २०१०, 10  दिसम्‍बर २०१०, 9 दिसम्‍बर २०१०. 4 December 2010 और २८ नवम्‍बर २०१० को प्रकाशित,  ग्‍वालियर चम्‍बल के संभागीय मुख्‍यालयों पर २० घण्‍टे की घोषित  नियमित बिजली कटौती के बाद अब अंधाधुन्‍ध अघोषित बिजली कटोती - इस समाचार के प्रकाशन के वक्‍त तक संभागीय मुख्‍यालयों पर प्रात: ४ बजे से सायं 5 बजकर 45 मिनिट अभी तक बिजली नहीं थी ।

मुरैना एवं भिण्‍ड जिला में प्रतिदिन की जा रही 20 घण्‍टे की डिक्‍लेयर्ड बिजली कटौती के बाद दीपावली के त्‍यौहार पर तथा त्‍यौहार गुजरने के बाद अतिरिक्‍त बिजली कटौती का चम्‍बल संभाग के निवासियों को और अधिक सामना करना पड़ रहा है ।

नरक चतुर्दशी पर जहॉं रात में १० बजे  से ११ बजे तक की अतिरिक्‍त बिजली कटौती की गयी वहीं ऐन दीपावली यानि ५ नवम्‍बर २०१० को प्रात: ७ बजे से काटी गयी बिजली कटौती आज दिनांक २५ दिसम्‍बर को इस समाचार के लिखे और प्रकाशित किये जाने के वक्‍त तक समूचे शहर में बिजली कटोती सबेरे 4 बजे से जारी है । उललेखनीय है कि विगत एक माह से  रात्रिकालीन बिजली कटौती भी प्रारंभ  कर दी गयी है और रात्रि ११ बजे से सुबह ३ बजे तक बिजली कटौती की जा रही है । ज्ञातव्‍य है कि विगत दिनों मुरैना में विकास को धता बताकर भ्रष्‍टाचार में मशगूल मुरैना जिला प्रशासन पर एक फिल्‍म ग्‍वालियर टाइम्‍स द्वारा इण्‍टरनेट पर प्रसारित की गयी थी इसके अलावा फर्जी हिनदूत्‍व के खिलाफ एक बृहद अभियान शुरू किया गया है जिससे मुरैना जिला प्रशासन और म.प्र. सरकार बुरी तरह झल्‍लाई हुयी है ।  वर्तमान में शहर में शट डाउन चल रहा है । उल्लेखनीय है कि चम्‍बल के ६५ फीसदी ग्रामीण क्षेत्र में बिजली है ही नहीं वहीं जहॉं हैं वहॉं दो दिन छोड़ कर महज ४ घण्‍टे के लिये मात्र बिजली दी जा रही है । ऐन त्यौहार पर की जा रही अनाप शनाप भारी बिजली कटौती से जनता में भारी रोष व आक्रोश व्याप्‍त हो गया है । स्‍मरणीय है मुरेना शहर चम्बल संभाग का संभागीय मुख्‍यालय है । इस दरम्‍यान बिजली घर का शिकायत दर्ज कराने का फोन नंबर ०७५३२- २३२२४४ सहित सभी अधिकारीयों एवं कर्मचारीयों के फोन बन्‍द चल रहे हैं जो कि हरदम बिजली शट डाउन करने से पूर्व आउट ऑफ क्रेडल एवं स्विच आफॅ कर लिये जाते हें ।   

यह थी वह फिल्‍म जिस पर कुर्राया मुरैना का भ्रष्‍ट कलेक्‍टर एम.के.अग्रवाल और म.प्र. का भ्रष्‍ट मुख्‍यमंत्री शिवराज सिंह – आप भी देखिये यह फिल्म

शुक्रवार, 24 दिसंबर 2010

प्रधानमंत्री ने भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया

प्रधानमंत्री ने भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया

प्रधानमंत्री डॉ0 मनमोहन सिंह ने आज नई दिल्ली में 2009 बैच के भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत राज्यों में रहता है, इसलिए हमारे देश के विभिन्न राज्यों में जो भी घटित हो रहा है, उसके बारे में हमारे युवा अधिकारियों को ज्ञान, बुध्दि एवं अनुभवों से अपने आपको लैस करना होगा। इसके साथ ही हमारे देश की एकता एवं अखंडता हमारे लिए प्रमुख चिन्ता का विषय है और यह इस देश की सभी प्रमुख सेवाओं के लिए भी सबसे महत्वपूर्ण विषय होना चाहिए। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि जहां तक देश की एकता और अखंडता का सवाल है, विकास की उचित दर को बनाये रखने के लिए कानून एवं व्यवस्था को बनाए रखना सबसे ज्यादा जरूरी है। डॉ0 सिंह ने कहा कि कानून और व्यवस्था के बिना हमारे देश की एकजुटता पर प्रश्नचिन्ह लग सकता है। 

उन्होंने कहा कि विकास के साथ कुछ तनाव भी हैं, क्योंकि विकास के लिए क्षमता का वितरण समान नहीं है। आज जब हम 8 से 9 प्रतिशत प्रति वर्ष की विकास दर से आगे बढ रहे हैं, उसके बावजूद बहुत लोगों को ऐसा लगता है कि वे विकास प्रक्रिया से बाहर छूट गए हैं और जब उनको ऐसा महसूस होता है तो व्यवस्था के खिलाफ उनकी शिकायतें बढ ज़ाती हैं और उनमें से कुछ कानून एवं व्यवस्था को चुनौती देने की कोशिश करते हैं। डॉ0 सिंह ने कहा कि प्रत्येक लोक सेवक के मस्तिष्क में साम्प्रदायिक वायरस से निपटने का जज्बा होना चाहिए। 

प्रधानमंत्री ने आतंकवाद की बढती समस्या पर भी चिन्ता व्यक्त करते हुए कहा कि यह एक ऐसा क्षेत्र है, जिसे अत्यन्त संवेदनशीलता से निपटने की आवश्यकता है। उन्होंने इन परीवीक्षाधीन अधिकारियों से इस समस्या से निपटने के लिए विश्वसनीय एवं कारगर रणनीतियां तैयार करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि नक्सल हिंसा भी एक बड़ी समस्या है, जो केन्द्रीय भारत के उन हिस्सों को प्रभावित कर रही है, जहां भारत की खनिज सम्पदा स्थित है। प्रधानमंत्री ने यह स्पष्ट किया कि 10 से 11 प्रतिशत प्रति वर्ष की विकास दर को प्राप्त करने की देश की महत्वाकांक्षा तभी पूरी होगी, जब नक्सल समस्या पर नियंत्रण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि जनजातीय क्षेत्र आज नक्सल समस्या की चपेट में हैं। उन्होंने यह भी कहा कि कुछ सामाजिक एवं आर्थिक कारणों की वजह से जनजातीय क्षेत्र के कुछ लोगों का प्रशासन से मोहभंग हुआ और वे नक्सल प्रौपेगंडा के शिकार बने। डॉ0 सिंह ने कहा कि इस समस्या से कानून एवं व्यवस्था की समस्या और विकास की समस्या दोनों रूपों में निपटने की आवश्यकता है। डॉ0 सिंह ने कहा कि कानून एवं व्यवस्था को लागू कराने वाली व्यवस्था में प्राद्योगिकी एवं तकनीकी का इस्तेमाल होना चाहिए, जिसमें थर्ड डिग्री जैसे उपायों के लिए कोई जगह न हो।

प्रधानमंत्री ने इन परीवीक्षाधीन अधिकारियों को उनकी जिम्मेदारियों को निभाने में पूर्ण सफलता की शुभकामना दीं।

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प्रधानमंत्री ने भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया

प्रधानमंत्री ने भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया

प्रधानमंत्री डॉ0 मनमोहन सिंह ने आज नई दिल्ली में 2009 बैच के भारतीय पुलिस सेवा के परीवीक्षाधीन अधिकारियों को सम्बोधित किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत राज्यों में रहता है, इसलिए हमारे देश के विभिन्न राज्यों में जो भी घटित हो रहा है, उसके बारे में हमारे युवा अधिकारियों को ज्ञान, बुध्दि एवं अनुभवों से अपने आपको लैस करना होगा। इसके साथ ही हमारे देश की एकता एवं अखंडता हमारे लिए प्रमुख चिन्ता का विषय है और यह इस देश की सभी प्रमुख सेवाओं के लिए भी सबसे महत्वपूर्ण विषय होना चाहिए। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि जहां तक देश की एकता और अखंडता का सवाल है, विकास की उचित दर को बनाये रखने के लिए कानून एवं व्यवस्था को बनाए रखना सबसे ज्यादा जरूरी है। डॉ0 सिंह ने कहा कि कानून और व्यवस्था के बिना हमारे देश की एकजुटता पर प्रश्नचिन्ह लग सकता है। 

उन्होंने कहा कि विकास के साथ कुछ तनाव भी हैं, क्योंकि विकास के लिए क्षमता का वितरण समान नहीं है। आज जब हम 8 से 9 प्रतिशत प्रति वर्ष की विकास दर से आगे बढ रहे हैं, उसके बावजूद बहुत लोगों को ऐसा लगता है कि वे विकास प्रक्रिया से बाहर छूट गए हैं और जब उनको ऐसा महसूस होता है तो व्यवस्था के खिलाफ उनकी शिकायतें बढ ज़ाती हैं और उनमें से कुछ कानून एवं व्यवस्था को चुनौती देने की कोशिश करते हैं। डॉ0 सिंह ने कहा कि प्रत्येक लोक सेवक के मस्तिष्क में साम्प्रदायिक वायरस से निपटने का जज्बा होना चाहिए। 

प्रधानमंत्री ने आतंकवाद की बढती समस्या पर भी चिन्ता व्यक्त करते हुए कहा कि यह एक ऐसा क्षेत्र है, जिसे अत्यन्त संवेदनशीलता से निपटने की आवश्यकता है। उन्होंने इन परीवीक्षाधीन अधिकारियों से इस समस्या से निपटने के लिए विश्वसनीय एवं कारगर रणनीतियां तैयार करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि नक्सल हिंसा भी एक बड़ी समस्या है, जो केन्द्रीय भारत के उन हिस्सों को प्रभावित कर रही है, जहां भारत की खनिज सम्पदा स्थित है। प्रधानमंत्री ने यह स्पष्ट किया कि 10 से 11 प्रतिशत प्रति वर्ष की विकास दर को प्राप्त करने की देश की महत्वाकांक्षा तभी पूरी होगी, जब नक्सल समस्या पर नियंत्रण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि जनजातीय क्षेत्र आज नक्सल समस्या की चपेट में हैं। उन्होंने यह भी कहा कि कुछ सामाजिक एवं आर्थिक कारणों की वजह से जनजातीय क्षेत्र के कुछ लोगों का प्रशासन से मोहभंग हुआ और वे नक्सल प्रौपेगंडा के शिकार बने। डॉ0 सिंह ने कहा कि इस समस्या से कानून एवं व्यवस्था की समस्या और विकास की समस्या दोनों रूपों में निपटने की आवश्यकता है। डॉ0 सिंह ने कहा कि कानून एवं व्यवस्था को लागू कराने वाली व्यवस्था में प्राद्योगिकी एवं तकनीकी का इस्तेमाल होना चाहिए, जिसमें थर्ड डिग्री जैसे उपायों के लिए कोई जगह न हो।

प्रधानमंत्री ने इन परीवीक्षाधीन अधिकारियों को उनकी जिम्मेदारियों को निभाने में पूर्ण सफलता की शुभकामना दीं।

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बुधवार, 22 दिसंबर 2010

टाटा इण्डिकॉम और एयरसेल की इण्‍टरनेट सेवायें बन्‍द होकर ठप्‍प हुयीं

टाटा इण्डिकॉम और एयरसेल की इण्‍टरनेट सेवायें बन्‍द होकर ठप्‍प हुयीं
मुरैना २२ दिसम्‍बर २०१० विश्‍वस्‍त सूत्रों और ग्‍वालियर टाइम्‍स द्वारा स्‍वयं जांचे जाने के बाद यह खबर पुष्‍ट हुयी है कि चम्‍बल अंचल में कल २१ दिसम्‍बर २०१० के प्रात: ५ बजे से दोनों ही कम्‍पनीयों टाटा इण्डिकॉम और एयरसेल की जी पी आर एस युक्‍त इण्‍टरनेट सेवायें पूरी तरह बन्‍द होकर ठप्‍प हो गयीं हैं । इस समाचार के रिलीज किये जाने के वक्‍त तक दोनों कंपनीयों की जी पी आर एस सेवायें कल से बंद हें ।
कम्‍पनीयों के कस्‍टमर केयर विभागों पर उपभोक्‍ताओं द्वारा औसतन अब तक २० – २० शिकायतें दर्ज करायीं जा चुकीं हैं लेकिन कम्‍पनी के कस्‍टमर केयर पर बैठे लोग उपभोक्‍ताओं की शिकायतें दर्ज न करते हुये जबरदस्‍ती सेटिंग्‍स थमाते रहते हैं  इसके बावजूद अंचल में कल से अब तक जी पी आर एस सेवायें शुरू नहीं हो सकीं हैं । 
टाटा इण्डिकॉम और एयरसेल के उपभोक्‍ता कल से लगातार पैकेट  डाटा कनेक्‍शन नॉट अवेलेबल की समस्‍या से और कंपनीयो द्वारा शिकायतें दर्ज न किये जाने और सुनवाई न किये जाने की समस्‍या से परेशान हैं ।
अनेक उपभोक्‍ता भारत सरकार के संचार मंत्रालय को लिखित शिकायतें कर रहे हैं यह भी स्‍मरणीय है कि टाटा इण्डिकाम में उपभेक्‍ताओं के बैलेन्स में से पेसे गायब हो जाने की भी शिकायतें हैं ।

मंगलवार, 21 दिसंबर 2010

कांग्रेस पटरी पर आने की मशक्‍कत बाकी, भाजपा की पटरी की खोंज, इस मंथन में छिपे हैं गूढ़ अर्थ

कांग्रेस पटरी पर आने की मशक्‍कत बाकी, भाजपा की पटरी की खोंज, इस मंथन में छिपे हैं गूढ़ अर्थ

भाग -1

नरेन्‍द्र सिंह तोमर ''आनन्‍द''

पिछले कुछ समय से देश में राजनीतिक संघर्ष काफी हद तलक बढ़ा है और इस शीत युद्ध के चलते आखिर आज यह शीत जंग मुखर होकर उस मुकाम पर आ पहुँची है कि अब खुल कर मुकाबला ही लाजमी हो गया है ।

अगर देश के राजनीतिक इतिहास पर पिछले कुछ अर्से के दरम्‍यान चली गयी राजनीतिक व कूटनीतिक मोहरेबाजी एवं पैंतरेबाजी पर नजर डालें तो भारत के राजनीतिक इतिहास का स्‍याह पन्‍ना ही नजर आयेगा और इस स्‍याह के पीछे एक खूनी मंजर भी दृष्टिगोचर हो जायेगा ।

सत्‍ता के इस खूनी द्वंद्व में अगर  शिकार और घायल कोई हुआ है तो वो है केवल जनता सिर्फ आम नागरिक आम आदमी और शिकारी रहे हैं देश कें राजनेता और राजनीतिक दल ।

एक समय था जब कांग्रेस प्रचण्‍ड बहुमत के साथ केन्‍द्र में सत्‍तासीन थी और कांग्रेस के नाम की सारे देश में तूती बोलती थी वही भाजपा महज दो सांसदों से खाता खोलने वाली एक बेहद तुच्‍छ और अनजानी पार्टी किसी जमाने में हुआ करती थी ।

पहले यह जान लेना बेहतर है कि कोई भी राजनीतिक दल इस देश के साधारण लोगों से ही बनता है और वे सभी साधारण लोग पूरे देश में एक जैसे हैं इस प्रकार बन्‍द बोतल पर लेबल कोई सा भी चिपका हो उसमें अंदर भरी शराब हर बोतल में एक जैसी ही है । वैसे ही किसी भी राजनीतिक दल में सब इसी देश के एक जैसे ही लोग शामिल हैं ।

चाहे कांग्रेस हो, चाहे भाजपा हो या तेलगू देशम या मनसे या शिवसेना या कोई और सभी पार्टियों में इस देश में रहने वाले लोग ही बसते हैं ।

राम मंदिर क्‍लेश और भाजपा

भगवान राम को लेकर एक जुनून देश में खड़ा करने वाली भाजपा को सत्‍ता हथियाने के लिये भगवान राम को और उनकी इज्‍जत को दांव पर लगाना पड़ा राम को वोटों से बेचने के लिये जितना घृणित खेल खेला गया शायद यह भारत के इतिहास में सत्‍ता प्राप्ति के लिये पहले कभी नहीं हुआ ।

आज सवाल यह है कि किसी अन्‍य राजनीतिक दल में या बगैर राजनीतिक दल वाले लोग जो कि भाजपा के सदस्‍य नहीं हैं क्‍या वे हिन्‍दू नहीं हैं या राम के भक्‍त नहीं हैं ।

क्‍या जो भाजपा या शिवसेना में हैं इस देश केवल वे ही हिन्‍दू हैं । आज यह सवाल भाजपा और शिवसेना जैसे दलों के सामने मुँह बाये खडा है और आने वाले दिनों में इस देश में जो जंग होगी वो हिन्‍दूओं में आपस होगी और यह बेहद खतरनाक होगी । केवल बात और मुद्दा महज यह होगा कि हिन्‍दू कौन है और कौन नहीं , कैन असल हिन्‍दू है और कौन फर्जी हिन्‍दू ।

लेकिन इस खतरनाक जंग जो कि आने वाले दिनों में बेहद गर्म होकर कड़ाही से बाहर आने वाला है, इसका बेहद सार्थक नतीजा भी निकलेगा और यह नतीजा यह होगा कि यह तय हो जायेगा कि लम्‍बे समय तक देश को लत्‍ते का सांप बना कर भयभीत व आतंकित रखा गया ।

हालांकि इसमें कई बातें बाहर निकल कर सामने आयेंगीं संभवत: जिनके जवाब भाजपा या शिवसेना के पास कतई नहीं होगे । और यह भी कि ताजन्‍म नहीं होंगें ।

अगर गैर कांग्रेसी सरकारों में कुछ बेहतरी है तो केवल इतनी सी है कि उसके पास तीन बहुत बेहतर नेता आज के वक्‍त में हैं मगर ये तीनों ही नेता भागवान राम के आंदोलन के कारण नहीं बल्कि अपने काम काज और समदृष्‍टा होने के कारण और बेहतरीन प्रशासनिक क्षमताओं और अर्जी फर्जी मुद्दों से खुद को दूर रखने के कारण हैं । ये तीनों नेता हैं एक तो भारत के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेयी जो कि अब भाजपा से रिटायर्ड हैं , दूसरे हैं गुजरात के मुख्‍यमंत्री नरेन्‍द्र मोदी जो सदा शान्‍त शालीन रहने के अलावा बहुत ही बेहतर राज काज प्रशासनिक क्षमता से संपन्‍न एवं समदर्शी प्रवृत्ति के नेता हैं तथा फर्जी हिन्‍दूत्‍व और फर्जी धर्मान्‍धता से स्‍वयं को दूर रख कर एक बेहद लोकप्रिय व उत्‍कृष्‍ट छवि के धनी हैं । तीसरे नेता बिहार के मुख्‍यमंत्री नीतिश कुमार हैं जिनका कार्यव्‍यवहार एवं कार्य प्रणाली नरेन्‍द्र मोदी के ही समान है और संवेदनशील प्रशासन देने कें मामले में आल अगर शान से किसी का नाम लिया जायेगा तो वह नीतिश कुमार का ।

क्रमश: अगले अंक में जारी .....