बुधवार, 2 जुलाई 2008

सूचना आयोग ने मुरैना न्‍यायालय को आवेदक को 15 दिन में सूचनायें उपलब्‍ध कराने के आदेश दिये, आयोग के निर्देश पर मिली आवेदक को सूचनायें, आयोग की लताड़ के बाद अब अधिनियम की धारा 4 का भी पालन करेगा मुरैना न्‍यायालय

सूचना का अधिकार में सूचनायें न देने पर मुरैना न्‍यायालय के विरूद्ध 25 हजार के जुर्माने की कार्यवाही प्रारंभ

खास रपट नरेन्‍द्र सिंह तोमर ''आनन्‍द''

सूचना आयोग ने मुरैना न्‍यायालय को आवेदक को 15 दिन में सूचनायें उपलब्‍ध कराने के आदेश दिये

आयोग के निर्देश पर मिली आवेदक को सूचनायें, आयोग की लताड़ के बाद अब अधिनियम की धारा 4 का भी पालन करेगा मुरैना न्‍यायालय

मुरैना 2 जुलाई 08, अंतत: लड़ते लड़ते आवेदक की विजय हुयी । हालांकि मुकाबला टेढ़ा था कठिन था, और किस्‍सा जल में रहकर मगर से वैर करने वाला था, लेकिन लड़ाई अधिकारों को पाने और हक की थी, सत्‍य की शक्ति और हौसलों की सवारी पर चढ़कर गरीब तथा लाचार होने के बाद भी वह जंग जीत गया ।

एक चींटीं जब किसी हाथी को चुनौती देती है, तो उपहास का पात्र बन जाती है, वह भी बन गया था लेकिन चींटीं ने आखिर हाथी को पछाड़ दिया । और भारत के उन हजारों आसधारीयों को आशा और हौसलों की एक किरण दे दी जो सूचना का अधिकार पाने के लिये आज तक संघर्षरत हैं ।

मध्‍यप्रदेश के सूचना आयोग ने न्‍याय व सच्‍चाई का साथ देते हुये थोड़ी सी हिम्‍मत दिखाई है इसे कुछ हद तक शुभ ही माना जा सकता है । ऐसे मिसाली (माइल स्‍टोन्‍ड) फैसले आयोग थोड़ी सी हिम्‍मत जुटाकर सुनाता रहे तो लोगों में सूचना का अधिकार के प्रति पुन: विश्र्वास जागेगा और लगभग विस्‍मृत किये जा चुके इस जन अधिकार को पुनर्जीवन प्राप्‍त होगा । मेरी नजर यह प्रतीकात्‍मक अलार्म बनना चाहिये और मीडिया में ऐसे निर्णयों को खास तवज्‍जो दी जाना चाहिये ।

मुरैना जिला की छोटी सी तहसील कैलारस में वकालत करने वाले एडवोकेट लज्‍जाराम पाण्‍डेय की मध्‍यप्रदेश के राज्‍य सूचना आयोग को की गयी द्वितीय अपील में यह निर्णय आया है । आयोग ने अपने ताजे निर्णय में मुरैना जिला न्‍यायालय को 15 दिवस के भीतर सूचनायें उपलब्‍ध कराने के सख्‍त आदेश के साथ ही जिला न्‍यायालय मुरैना के लोकसूचना अधिकारी एस.आर.अनगरे के खिलाफ 25 हजार रूपये की जुर्माना वसूलने की कार्यवाही प्रारंभ कर दी है ।

कैलारस के एडवोकेट लज्‍जाराम पाण्‍डेय द्वारा 4 जनवरी 2007 को सूचनायें चाहे जाने के लिये अपना आवेदन मुरैना जिला न्‍यायालय के लोकसूचना अधिकारी एस.आर.अनगरे के समक्ष प्रस्‍तुत किया, अनगरे द्वारा अपने लोकसूचना अधिकारी होने सम्‍बन्‍धी तथ्‍य से इंकार किया जिस पर आवेदक लज्‍जाराम द्वारा मुरैना के तत्‍कालीन जिला एवं सत्र न्‍यायाधीश बी.डी.राठी के समक्ष अपना आवेदन प्रस्‍तुत किया, बी.डी. राठी उस समय जिला एवं सत्र न्‍यायाधीश होने के साथ ही सूचना का अधिकार अधिनियम 2005 के तहत मध्‍यप्रदेश के माननीय उच्‍च न्‍यायालय द्वारा अपीलीय अधिकारी नियुक्‍त किये गये थे, इसी आदेश के तहत माननीय उच्‍च न्‍यायालय म.प्र. ने न्‍यायालय अधीक्षक एस.आर. अनगरे को मुरैना जिला न्‍यायालय का लोकसूचना अधिकारी नियुक्‍त किया था । लेकिन आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय द्वारा सूचना का अधिकार के तहत आवेदन प्रस्‍तुत किया तो दोनों ही लोगों ने सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत अपनी नियुक्तियों को जो कि मध्‍यप्रदेश उच्‍च न्‍यायालय द्वारा की गयी, दरकिनार करते हुये, अपीलीय अधिकारी बी.डी.राठी ने खुद को लोकसूचना अधिकारी के रूप में प्रकट कर आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय से उसका आवेदन ग्रहण कर लिया जिसे सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत कार्यवाही करने और पंजीबद्ध करने के बजाय नियमित न्‍यायालयीन कार्यवाही में लेकर आवेदन क्रमांक 53 पर पंजीकृत कर लिया, इसके अलावा एक तमाशा और भी किया आवेदक द्वारा अपने आवेदन के साथ अधिनियम के तहत आवेदन शुल्‍क के रूप में मध्‍यप्रदेश सरकार द्वारा निर्धारित 10 रूपये का नान जूडिशियल स्‍टाम्‍प भी संलग्‍न किया था इसके अतिरिक्‍त आवेदक से 10 रूपये अतिरिक्‍त और भी दोबारा आवेदन के साथ ही शुल्‍क के रूप में वसूल लिये जिसकी रसीद क्रमांक 94/1734 काट दी गयी ।

उपरोक्‍त बातों के अलावा और भी अधिक गंभीर बात थी कि आवेदक ने बी.डी.राठी पर नोटरी नियुक्ति के पैनल भेजे जाने में भ्रष्‍टाचार के आरोप लगाते हुये, बी.डी.राठी द्वारा संपादित कार्यालयीन कार्यवाहीयों के दस्‍तावेज मांगे गये थे । और खुद के खिलाफ आरोपग्रस्‍त सूचना के अधिकार के आवेदन को न केवल स्‍वयं ही अनाधिकृत रूप से ग्रहण किया बल्कि उसकी सुनवाई भी कर डाली और निर्णय भी सुना डाला ।

जब आरोपी ही जज हो तो फैसला क्‍या होगा, वही हुआ आवेदक के आवेदन को अधिनियम में प्रावधानित कोई भी कार्यवाही किये बगैर सीधे ही 10 एवं 11 जनवरी (दो भिन्‍न आदेश) 2007 को खारिजी आदेश जारी कर आवेदक को सूचना दिये जाने से अधिनियम की धारा 8(1) (जे) की शक्ति की आड़ लेकर खारिज कर दिया ।

आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय के इस आवेदन के खारिज होने के बाद बड़ी विचित्र स्थिति उत्‍पन्‍न हो गयी । आवेदक के आवेदन को लोकसूचना अधिकारी के बजाय अपीलीय अधिकारी ने ग्रहण कर फैसला सुना दिया था, सो अब प्रश्‍न यह था कि आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय अधिनियम की धारा 19 के तहत अपनी पहली अपील कहॉं व किसे प्रस्‍तुत करे । ऐसी स्थिति में आवेदक ने अधिनियम की धारा 19 को पालन करते हुये अपनी पहली अपील मध्‍यप्रदेश उच्‍च न्‍यायालय के ग्‍वालियर व जबलपुर के अपीलीय अधिकारीयों तथा स्‍वयं पुन: बी.डी.राठी को अपीलीय अधिकारी के रूप में प्रस्‍तुत कर दी साथ ही एक प्रति मध्‍यप्रदेश के सूचना आयोग को भी भेज दी ।

विचित्र स्थिति निर्मित हो जाने से, उच्‍च न्‍यायालय ने बी.डी.राठी को नियमित स्‍थानान्‍तरण प्रक्रिया के तहत मुरैना से अन्‍यत्र स्‍थानान्‍तरित कर दिया । लेकिन तकनीकी विसंगति व त्रुटि प्रकरण में आ जाने से प्रथम अपील अनिराकृत ही रही । तब आवेदक ने मध्‍यप्रदेश के सूचना आयोग अपनी द्वितीय अपील प्रस्‍तुत की । इस द्वितीय अपील को म.प्र. के राज्‍य सूचना आयोग द्वारा क्रमांक ए-0195 पर पंजीकृत कर लिया और सुनवाई प्रारंभ की ।

लगभग एक साल बाद आयोग ने आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय की अपील का निराकरण करते हुये मुरैना जिला न्‍यायालय के खिलाफ अपना फैसला 10 अप्रेल 2008 को सुनाया और आवेदक को 15 दिन के भीतर सूचनायें उपलब्‍ध कराने के आदेश दिये । और मुरैना जिला न्‍यायालय के लोकसूचना अधिकारी के खिलाफ 25 हजार रूपये जुर्माना वसूलने की कार्यवाही अधिनियम की धारा 20(1) के तहत प्रारंभ कर दी ।

आयोग के फैसले के लगभग 50 दिन बाद मुरैना जिला न्‍यायालय ने आवेदक को सूचनायें उपलब्‍ध करवा दीं । लेकिन आवेदक द्वारा अपने आवेदन में मुरैना जिला न्‍यायालय द्वारा अधिनियम की धारा 4 के पालन किये जाने एवं इण्‍टरनेट पर जानकारीयां उपलब्‍ध कराये जाने सम्‍बन्‍धी सवाल पर हैरत अंगेज उत्‍तर देते हुये सारा दोष म.प्र.उच्‍च न्‍यायालय के ऊपर पटक दिया है और कहा है कि म.प्र. उच्‍च न्‍यायालय ने इस धारा का पालन करने के आदेश 24 मई 2008 को दिये जाना बताया गया है ।

आवेदक लज्‍जाराम पाण्‍डेय को सूचनायें प्राप्‍त हुयीं इस लम्‍बी लड़ाई से अवश्‍य ही अन्‍य लोगों को प्रेरणा प्राप्‍त होगी । उल्‍लेखनीय है कि लज्‍जाराम पाण्‍डेय गरीब अभिभाषक है, इसके बावजूद वह लड़ा और जीता ।  

मंगलवार, 1 जुलाई 2008

मुरैना डायरी - चम्‍बल की कानून व्‍यवस्‍था –भाग- 1, मुरैना में लूट, चोरी, हत्‍याओं और अपहरणों का ताबड़तोड़ सिलसिला, पुख्‍ता सूचनाओं के बावजूद अपराधीयों को नहीं पकड़ती पुलिस -1

मुरैना में लूट, चोरी, हत्‍याओं और अपहरणों का ताबड़तोड़ सिलसिला, पुख्‍ता सूचनाओं के बावजूद अपराधीयों को नहीं पकड़ती पुलिस -1

नरेन्‍द्र सिंह तोमर ''आनन्‍द''

मुरैना डायरी - चम्‍बल की कानून व्‍यवस्‍था भाग- 1

किश्‍तबद्ध रिपोर्ट ऑंखों देखी, भुक्‍त भोगी- नो कायमी नो चालान

मजे की बातें पते की बातें- 100 प्रतिशत सच

 मय सबूत

टीप इस रिपोर्ट को प्रकाशित किया जाने से पहले सारी सच्‍चाई का स्‍पष्‍ट ध्‍यान रखा गया है साथ ही सावधानी बरती गयी है कि , हम यह जानते हैं इसके प्रकाशन का अंजाम क्‍या हो सकता है, इसके लिये हमने अपने स्‍तर पर पूर्ण व्‍यवस्‍था की है । और हम अपने सूत्र वाक्‍य '' यदा यदा हि धर्मस्‍य ग्‍लानिर्भवति भारत...'' तथा ''स्‍वधर्मे निधनं श्रेय: परधर्मो भयावह:'' एवं '' धर्म युक्‍त युद्ध से बढ़कर क्षत्रिय के लिये अन्‍य कोई कल्‍याण कारक कर्तव्‍य नहीं है , को स्‍मरण व आधार बना कर इस धर्म युद्ध व सत्‍य संग्राम का प्रारंभ करते हैं । ''यत्र योगेश्‍वर कृष्‍णो यत्र पार्थो: धनुर्धर: । तत्र श्री: र्विजयोर्भूतिध्रुवा नीतिर्मतिर्मम ।।   

·          पॉंच साल में एक भी चोर नहीं पकड़ पाई मुरैना पुलिस (सबूत हमारे पास है)

·          हाईकोर्ट के आदेश से दर्ज मामलों एवं पुलिस विवेचना में सिद्ध पाये गये अपराधों में छह साल में एक भी अपराधी नहीं गिरफ्तार कर पायी न चालान पेश कर पायी मुरैना पुलिस, फर्जी खात्‍मा रिपोर्ट भी लगा देती है पुलिस

·          थाने बने व्‍यावसायिक परिसर और दलाली केन्‍द्र, नहीं दर्ज होतीं थानों में एफ.आई.आर., दिल बहलाने को गालिब ख्‍याल अच्‍छा बनकर रह गयी दण्‍ड प्रक्रिया संहिता की धारा 154, 154(3) और इण्‍टरनेट से दर्ज रिपोर्टें

·          पुलिस की नौकरी बनाम अपराध करने का खुला लायसेन्‍स और कमाई का बेस्‍ट जरिया, महज राजनेताओं और अपराधियों के नौकर और दलाल बन कर रह गयी है पुलिस

·          नवाचार प्रणाली और इण्‍टेलीजेन्‍सी क्राइम तथा सायबर क्राइम में शून्‍य बटा सन्‍नाटा है मुरैना पुलिस

·          दिनदहाड़े सुबह शाम और रात हर घड़ी घटित हुये अपराध, दिन के सोलह प्रहर चौबीस घण्‍टे जनजीवन असुरक्षित

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·          पुलिसिया बदला, फर्जी मुठभेड़ों, फर्जी केसों में फंसाने में अव्‍वल एवं माहिर है मुरैना पुलिस

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·          दण्‍ड प्रक्रिया संहिता एवं उसके संशोधनों का , पुलिस एक्‍ट (संशोधित) का ज्ञान शून्‍य बटा सन्‍नाटा, खुलेआम सरे थाने रात दिन टूटता है कानून 

·          डकैत खुल कर होते हैं डकैत, मगर पुलिस है लायसेन्‍स्‍ड डकैत, चोर, ठग, और जेबकट   

 

मुरैना 1 जुलाई 08, शहर और आसपास के क्षेत्रों में इन दिनों ताबड़तोड़ वारदातों का सिलसिला जारी है । मजे की बात ये है कि पुलिस हाथ पर हाथ धरे बैठकर महज तमाशाई बन कर रह गयी है । और मलाल ये है कि घट रहे अपराधों में से 70 फीसदी मामलों में पुलिस रिपोर्ट तक दर्ज नहीं करती । सबसे अधिक बुरे हालात सिटी कोतवाली मुरैना के क्षेत्र के हैं । हमने इस रिपोर्ताज के लिये पुखता सबूत जुटाये हैं ।  

अभी इस साल की होली के आसपास से शुरू हुआ वारदातों का सिलसिला खत्‍म होने के बजाय दिनोंदिन रफ्तार पकड़ता जा रहा है । सबसे अधिक बुरे हालात मई जून के महीने में रहे । जिसमें चोरी, लूट, अपहरण और हत्‍याओं की आंधी सी चल पड़ी ।

हमारे सूत्रों से संकलित जानकारी के मुताबिक महज मई जून के महीने में समूचे जिले को छोड़कर केवल शहर मुरैना में 7 अपहरण, 71 लूट, 13 हत्‍यायें और लगभग ढाई सैकड़ा चोरीयां हुयीं । अफसोस जनक तथ्‍य यह है कि पुलिस ने 70 फीसदी मामलों की रिपोर्ट तक दर्ज नहीं की । सर्वाधिक घटनायें मोबाइल लूटने, चोरी किये जाने और छीनने की घटनायें हुयीं केवल मई जून में मुरैना शहर से 1700 मोबाइल छीने, लूटे और चोरी किये गये । पुलिस ने अधिकांश या लगभग सभी मामलों में (अपवाद स्‍वरूप कुछ मामले छोड़ दीजिये) रिपोर्ट तक दर्ज नहीं कीं ।

मुरैना को भयमुक्‍त व आतंकमुक्‍त करने का नारा और वायदा देकर चुनाव जीतने वाले मध्‍यप्रदेश के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री रूस्‍तम सिंह स्‍थानीय मुरैना विधानसभा से ही विधायक हैं । उनके मुरैना जिला को भय व आतंक से मुक्‍त करने की बात तो छोड़ कर फेंक ही दीजिये उनके खुद के विधानसभा क्षेत्र विशेषकर शहर मुरैना में सबसे ज्‍यादा भय व आतंक का कहर इस समय व्‍याप्‍त है ।

मुरैना शहर तो इन दिनों अपराधियों की राजधानी या यूं कहिये कि स्‍वर्ग है । जहॉं आप शौक से कहीं भी कभी भी वारदातें करिये, मजे से रहिये, खुले आम घूमिये । पुलिस आपको न तंग करेगी न परेशान बल्कि फुल प्रोटेक्‍शन मिलेगा और अगले क्‍लास या लेवल तक उन्‍नत वारदातें सीखने के तौर तरीके भी जानने को मिलेंगें ।

हमारी रिसर्च के मुताबिक मध्‍यप्रदेश तो क्‍या भारत के किसी भी पुलिस वाले या उसके रिश्‍तेदार को यदि मोबाइल फोन की जरूरत है तो उसका कोई परिचित मुरैना पुलिस में होना चाहिये । आप मुरैना पुलिस के अदने से सिपाही से लेकर बड़े अफसर तक से फ्री के मोबाइल आसानी से प्राप्‍त कर सकते हैं । इन मोबाइल सेटों की कीमत हजार ग्‍यारह सौ रूपये से लेकर तीस चालीस हजार रूपये तक होती है लेकिन सब फ्री में या चार पॉंच सौ रूपये में आपको मुरैना से उपलब्‍ध हो जाते हैं ।

मुरैना के केवल स्‍थानीय वाशिन्‍दों के ही मोबाइल छीने, लूटे या चोरी जाते हों ऐसी बात नहीं है । बाहर से आने वाले लोगों के सड़क चलते, बस से उतरते ट्रेन में चढ़ते मोबाइल छीन, लूट या चोरी कर लिये जाते हैं ।

कौन छीनता लूटता या चोरी करता है मोबाइल

मोबाइल छीनने, लूटने और चोरी करने वालों के कई जुदा रैकेटस हैं लेकिन आश्‍चर्य जनक तथ्‍य यह है कि इन सभी की किशोर वय या नवयुवा अवस्‍था है जो कि 13-14 साल की उम्र से लेकर करीब 27 -28 साल के दरम्‍यान ही हैं । सबके लगभग जुदा ग्रुप हैं । ये लोग रास्‍ता चलते मोबाइल पर बात कर रहे लोगों से या उनके कपड़ो की जेबों में से पलक झपकते या कुछ ही सेकण्‍डों के भीतर मोबाइल उड़ा देते हैं, आदमी तब तक सारा माजरा समझे तब तक मोटर साइकिल या बाइक से उड़नछू हो जाते हैं । घरों में चोरी होने की 60-65 फीसदी वारदातों में मोबाइल अवश्‍य ही चुराये गये । घरों में रात को या दिन को कूदने या गृह भेदन के मामलों में इन किशोरों के नाम आना निसंदेह भारत के भविष्‍य के लिये चिन्‍ताजनक है । जहॉं इन किशोरों को छात्र होने का कानूनी लाभ और सहानुभूति मिलती है वहीं किशोर वर्ग में शराब, जुआ, चोरी, सट्टा और लूट की बेतहाशा रूचि वृद्धि कुछ खतरनाक संकेत भी देती है । समझने वाले समझ सकते हैं कि इन कुप्रवृत्तियों के पीछे क्‍या कारण और मकसद हैं ।

मैंने लम्‍बा समय अपराधीयों के रिसर्च और तरीकों पर गुजारा है, मुझे हैरत है कि कभी बम्‍बई या मुम्‍बई में घटित होने वाली क्राइम प्रणाली चम्‍बल में आज आम हो गयी है, जबकि कुछ समय पहले यहॉं की अपराध प्रणाली सर्वथा भिन्‍न थी । आज किशोरों को लाभ, लोभ, ऐश, आराम और शराब, पैसे तथा नाम रूतबा बुलन्‍दी के लिये आसानी से लोग हायर कर लेते हैं । जिसे दूसरी भाषा में गुण्‍डे पालना या सुपारी देना कहा जाता है । चम्‍बल का हर अदना या बड़ा नेता इन किशोर गुण्‍डों को हायर कर रहा है यह बात ठीक है लेकिन समाज का व्‍यवसायी वर्ग या प्रतिष्ठित वर्ग भी इन्‍हें हायर करने में लगा है, पुलिस ने व्‍यावसायिक तौर पर एवं बदला कार्यवाही के लिये इन्‍हें हायर करना शुरू कर दिया है यह चिन्‍ताजनक है । कई लोगों को नहीं मालुम होगा कि उनकी संतान गलत संगत में है या हायर्ड है लेकिन बहुतेरे लोगों को बाकायदा यह पता होता है कि उनकी संतान हायर्ड है और कई कारणों से वे इस हायरिंग को कन्‍टीन्‍यू रहने देते हैं । मसलन एक गुण्‍डे के आतंक से बचने का अच्‍छा उपाय है दूसरे गुण्‍डे की शरण में बने रहो, या उनकी किशोर संतान उन्‍हें मरने या आत्‍महत्‍या करने की धमकियां देतीं हैं, या आत्‍महत्‍या के प्रयास तक एकाध बार करके दिखा देते हैं , जिससे घर परिवार के लोग भयवश मौन हो जाते हैं । यह सतत प्रक्रिया है । कभी कभी घर वाले खुद ही लोभ लालच में फंस कर उनकी संतान के आपराधिक लाभों में भागीदार बन कर इलेक्‍ट्रानिक सामानों और कई चीजों व रूपये पैसे से समृद्ध होने लगते हैं । हालांकि कई कारण इस सम्‍बन्‍ध में प्रखर हैं किन्‍तु हर कारण इन किशोर युवाओं को आपराधिक दलदल में प्रविष्‍ट होने और सतत रहने की ओर ही प्रेरित करता है । सबसे अधिक खतरनाक तथ्‍य यह है कि केवल बालक किशोर युवा ही नहीं वरन बालिकायें किशोर नवयुवतियां भी इब इन गिरोहों में शामिल हो गयीं हैं । पिछले दिनों कई मामलों में मुरैना शहर में इस तरह की लड़कियों को पकड़ा गया ।  

 

क्रमश : जारी अगले अंक में .....      

 

सोमवार, 30 जून 2008

पंचायत मंत्री ने दी परीक्षा गांव में अनेक सौगातें

पंचायत मंत्री ने दी परीक्षा गांव में अनेक सौगातें

मुरैना 29 जून 08/ पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री श्री रूस्तम सिंह आज मुरैना जनपद के ग्राम परीक्षा में ग्रामीणो से रू ब रू हुए । उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की मंशा पानी, बिजली और सड़क की व्यवस्था में सुधार कर तेजगति से विकास कर प्रदेश को समृध्द शाली राज्य बने । श्री सिंह ने 25 लाख रूपये से नलजल योजना स्थापित करने की घोषणा की । इस अवसर पर भ्रमण के समय अनुविभागीय अधिकारी डा.एम.एल. दौलतानी, स्वास्थ्य, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, प्रधान मंत्री सड़क योजना, महिला एवं बाल विकास, जनपद सीईओ मुरैना आदि विभागों के अधिकारी, बड़ी संख्या में ग्रामीण महिला, पुरूष उपस्थित थे ।

       पंचायत मंत्री श्री रूस्तम सिंह ने कहा कि सरकार की मंशा है कि हर वर्ग के अंतिम छोर तक के व्यक्ति को विभिन्न कल्याणकारी संचालित योजनाओं का लाभ मिले । उन्होंने प्रधान मंत्री सड़क योजनान्तर्गत परीक्षा ग्राम से बुध्दसिंहकेपुरा तक चार किलो मीटर रोड के प्राकलन तैयार करने के संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिये जिसमें गांव में सी.सी.रोड बनाने को कहा । उन्होंने कहा कि इस गांव को रिठौरा फीटर से जोडा जायेगा, जिससे ग्रामीणों को प्रर्याप्त मात्रा में बिजली की आपूर्ति मिल सकेगी । उन्होंने परीक्षा से दतहरा ग्राम को जोड़ने हेतु 2 कि.मी. रोड़ का भी आश्वासन दिया । श्री सिंह ने गांव में चार नये हैण्ड पम्प की स्वीकृति भी दी और तालाब का जीर्णोध्दार करने की बात कही । 

       श्री सिंह ने कहा कि पूर्व से स्वीकृत भगपुरा का हाईस्कूल परिवर्तित कर परीक्षा गांव में 1 जुलाई से प्रारंभ किया जायेगा । जिसमें बालक/बालिकाओं को मध्यान्ह भोजन और बालिकाओं को साइकिल, ड्रेस आदि प्रदाय की जायेगी । उन्होंने कहा कि गरीब की बेटी को अब बोझ नहीं रहने देंगे, बल्कि उसे वरदान बनाकर ही दम लेंगे । प्रदेश शासन की लाड़ली लक्ष्मी योजना के अंतर्गत माधुरी और महक 2 बालिकाओं के अभिभावकों को 6-6 हजार रूपये के राष्ट्रीय बचत पत्र वितरित किये।

ग्रामीणों को सम्बोधित करते हुए आगे कहा कि सरकार ने घाटे की खेती को फायदे का धंधा बनाने का संकल्प लिया है । इसके लिए कृषि लागत को कम करने के प्रयास किये गये हैं । खाद-बीज के ऋण पर ब्याज दर घटा दी गयी है और राजस्व पुस्तक परिपत्र में संशोधन कर फसल क्षति की राहत में वृध्दि की गई है ।

       इस अवसर पर सरपंच श्री दर्शन सिंह राठौर ने मंत्री जी को मांग पत्र पढ़कर सुनाया और स्वागत भाषण भी दिया श्री गंगा प्रसाद सिंह मावई, श्री दण्डोतिया, रामबीर सिंह कंषाना, श्री अरबिन्द भदौरिया ने भी बिचार व्यक्त किये । 

 

शुक्रवार, 27 जून 2008

नवीन आवास और आवास उन्नयन के लिए 172 हितग्राहियों का चयन

नवीन आवास और आवास उन्नयन के लिए 172 हितग्राहियों का चयन

मुरैना 26 जून 08/ जिला पंचायत मुरैना द्वारा अम्बाह जनपद के 139 हितग्राहियों को नवीन आवास हेतु 35 हजार रूपये प्रति आवास के मान से 48 लाख 65 हजार रूपये तथा 33 हितग्राहियों को आवास उन्नयन हेतु प्रति आवास 15 हजार रूपये के मान से 4 लाख 95 हजार रूपये कुल 53 लाख 60 हजार रूपये की स्वीकृति प्रदान की गई हैं ।

       मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत श्री अभय वर्मा के अनुसार ग्राम पंचायत के सरपंच का दायित्व होगा कि वे राशि प्राप्त होने के एक सप्ताह के अन्दर हितग्राहियों के खाते में स्वीकृत राशि की आधी राशि प्रथम किश्त के रूप में पहुंचायें तथा कार्य की प्रगति के आधार पर अधिकतम डेढ़ माह में द्वितीय किश्त दी जाय । राशि उपलब्ध नहीं कराने की स्थिति में संबंधित ग्राम पंचायत के सरंपच और सचिव के विरूध्द अनुशासनात्मक कार्रवाई के निर्देश मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत अम्बाह को दिए गए हैं । हितग्राही को स्वीकृत आवास में शौचालय और धुंआरहित चूल्हे का निर्माण कराना जरूरी होगा ।

जनपद पंचायत अम्बाह में इन्दिरा आवास योजना के अन्तर्गत ग्राम बड़फरा के जगन्नाथ , पानसिंह और भारत, विचोला के रामप्रकाश और विजेन्द्र, भडौली के दीनदयाल  और लज्जाराम, गूंज के सुनील और विद्याराम, चांदपुर के अंतूराम, कमतरी की अजुध्दी और कुन्दन लाल, सिकरोड़ी के जगराम और शिवनारायण, थरा के भूरेलाल और रामचरण, नावली के आदिराम  और प्रभूदयाल, रूपहटी के महावीर और रामरतन, गीलापुरा के दशरथ, धनसुला के पुरूषोत्तम और राजवीर, पुरावस खुर्द की श्रीमती त्रिवेणी और बलवीर, महूरी के पंचमसिंह, रामपुर और प्रभू, भडोली की प्रयागदेवी, ककरारी के  छोटेसिंह, गुंज के मंशाराम , मलबसई के लटूरी, खिरेटा के हरीसिंह, डण्डोली के रूपसिंह, बीलपुर की धनवन्ती, कुथियाना की पुष्पा, जोंहा की श्रीमती भगवती, श्रीमती जशोदा और खुन्नीलाल, कचनोधा के जीवाराम, ऐसाह के मवासी, चांदपुर के मुनीर खां और रामश्री, दिमनी की रामबाई, लहर के अमरसिंह,रानपुर के अंतराम, गोठ के रामसिंह, बरेह की रामदुलारी और दिलीप कुमार, कमतरी के रामलछिन, तुतवास के गोपाल और मंगल, चांदकापुरा के बीधाराम और कमलेश, खडिया बेहड के किविलास, बाबडी पुरा के रामहेत, जलकानगरा की श्रीमती लड़तीबाई, भोनपुरा नाथूसिंह, गोपी के रामचरण, कुकथरी की शांतिबाई, सुनावली के लखपति, रूपहटी के रामस्वरूप सिंह, धनसुला के रामनाथ, तरैनी की कान्ता, किरयिच के विनोद और धनीराम, पुरावस कलां के रामसुन्दर, पुरावस खुर्द के रमेश सिंह, मानपुर रजपूति की कलावती, कोल्हुआ के द्वारिका, लेपा के राजेश, भिडोसा के छोटेसिंह, सांगोली की श्रीदेवी, सिहोनिया के सोवरन, खडियाहार के रामजीलाल, ककरारी के आजाद खां, दिमनी के रट्टी शाह, सुलेमान और काबोशाह, लहर के अलीशाह, विरहरूआ के लाल खां, चांदका पुरा के मोहम्मद खां, इनायकी के नसीर खां और जबर खां, गोपी के रसीद खां, खडियाहार के रामजानी खां, सलीम खां और बाबू खां , ककरारी के सिहार खां और इस्लाम खां, चादपुर के चिम्मन खां,दिमनी के सुल्तान, शहीदन और शब्बीर, थरा के आजाद खां और शहजाद खां, विचोला के काशीराम और मनिराम, भडोली के अशोक, सुरेश और बेताल सिंह, गूंज के विजय सिंह, कमतरी के मंशाराम और राजवीर, रूपहटी की रामरती,पुरावस खुर्द के मुरारी लाल और रामप्रसाद , भडोली के अंगद सिंह और जबर सिंह, रूपहटी के छोटे लाल और शब्बीर खां, पुरावस खुर्द के हुब्बालाल, कमतरी के मुकेश, कटोरी ,मानसिंह, रामसेवक, धीरसिंह और मुन्नालाल,  आरोली के हरिज्ञान, थरा के रामबरन, कमलेश और केशवती, बड़फरा की मुन्नाबाई, ककरारी के छोटेलाल, गूंज की रामकली, खिरेटा के कलियान, गोपी के शिवओम, किर्रायच के चन्दन सिंह, भिडोसा की शीलाबाई आौर गोविन्द, रिठौराकला के रामभरोसी, मलबसई के बहुरीलाल, बीलपुर की जावित्री, कुथियाना के विनोद, बरेह के छदम्बे, भोनपुरा के सुखराम, सींगपुरा के मुलायम, तरेनी के राजवीर, किर्रायच की कलावती कोल्हुआ के रामपाल को नवीन आवास स्वीकृत हुए हैं । आवास निर्माण हेतु प्रत्येक हितग्राही को दो किश्तों में 35 हजार रूपये प्रदत्त किये जायेंगे।

       इसी प्रकार आवास उन्नयन हेतु बड़फरा के रामस्वरूप, भडोली के गन्द्रसिंह, खिरेटा की शकुन्ता बाई, बीलपुर के तेज बहादुर, कुथियाना के बबलू, जौहा के भीकाराम, कचनोधा के रामलक्षिन, ऐसाह के रामस्वरूप, चांदपुर के बेताल, दिमनी की रामकटोरी, गोठ की प्रेमा, बरेह के बांकेलाल,  कमतरी के महाबीर, तुतवास के रामलखन, आरोली के मेवाराम, चॉदका पुरा के कोशम खां, सिकरोड़ी के रामबरन,  थरा के भोगीराम, जलका नगरा के बिहारी,  गोपी के जानकीप्रसाद, कुकथरी के सुधाराम, नावली के रामप्रकाश, रूपहटी के रामसुन्दर, धनसुला के राजाराम, तरेनी की कटोरी, किर्रायच के रामसिध्द, पुरावस खुर्द के दोजीराम, कोल्हुआ के भज्जीराम, भिडोसा के आशाराम, खडियाहार के बाबू खां और भूरे खां, एसाह की मुन्नी तथा दिमनी के इसमाईल को 15-15 हजार रूपये की राशि स्वीकृत की गई है।

 

जौरा नगर पंचायत की मत गणना सम्पन्न

जौरा नगर पंचायत की मत गणना सम्पन्न

मुरैना 26 जून 08/ जौरा नगर पंचायत के अध्यक्ष पद के लिए 11 जून को हुए मतदान में प्राप्त मतों की मतगणना आज सम्पन्न हुई ।

       रिटर्निंग ऑफीसर एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व जौरा श्री आर.पी.एस.जादौन के अनुसार आज सम्पन्न मतगणना में निर्दलीय प्रत्याशी चन्द्रदेवी भर्रा 5943 मत प्राप्त कर बिजयी हुई । भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी अशोक शर्मा को 5330 और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के प्रत्याशी श्री प्रेम संतोष शर्मा को 1845 मत प्राप्त हुए ।

 

ग्रामीणों को मिली योजनाओं की जानकारी जौरी गांव में सूचना शिविर सम्पन्न

ग्रामीणों को मिली योजनाओं की जानकारी  जौरी गांव में सूचना शिविर सम्पन्न

मुरैना 26 जून 08/ ग्रामीणों को शासकीय योजनाओं की जानकारी देने के लिए आज मुरैना जनपद के ग्राम जौरी में जन संपर्क विभाग द्वारा सूचना शिविर आयोजित किया गया ।

       मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत मुरैना श्री शिवप्रसाद ने शिविर का शुभारंभ किया और ग्रामीणों को शिविर में पदत्त जानकारी से लाभ उठाने का आव्हान किया । उन्होंने कहा कि दूर-दराज के ग्रामीणों तक सरकार की जन कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी पहुंचाने के लिए सूचना शिविर एक सशक्त माध्यम है । उन्होंने कहा कि ग्रामीण गरीबों के हित में शासन द्वारा अनेकों योजनायें संचालित की जा रही हैं ।  रोजगार गारंटी योजना के अन्तर्गत जरूरत मंद लोगों को 100 दिन के रोजगार की गारंटी दी गई है । इस योजना में ग्रामीणों की मांग पर ही काम खोलने का प्रावधान है । खेतिहर मजदूरों की भलाई के लिए मुख्यमंत्री मजदूर सुरक्षा योजना संचालित है । इसके तहत जन्म से लेकर मृत्यु तक विभिन्न सहायता का प्रावधान किया गया है । मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा योजना के अंतर्गत गरीबों को तीन रूपये किलो की दर पर प्रति माह 20 किलो गेहूं दिया जा रहा है ।

       शिविर की अध्यक्षता ग्राम पंचायत जौरी के सरपंच श्री बल्लभ सिंह ने की । उन्होंने कहा कि रोजगार गारंटी योजना में सभी ग्रामीण परिवारों के जॉव कार्ड बनाये गये हैं । काम करने के इच्छुक व्यक्ति को 85 रूपये के हिसाब से मजदूरी दी जा रही है और मजदूरी का भुगतान बैंक खाते के माध्यम से किया जा रहा है । 

       शिक्षा विभाग के श्री बीरेन्द्र सिकरवार ने स्कूल चलें हम की जानकारी देते हुए बताया कि शासन ने अप्रवेशी 7 से 14 वर्ष तक के बच्चों को स्कूल में लाने का अभियान चलाया है । इसमें ग्रामीणों को सहयोग करना चाहिए और ऐसे बच्चों को स्कूल में प्रवेश दिलाने की पहल करनी चाहिए। उन्होंने स्कूल में संचालित मध्यान्ह भोजन, मुफ्त गणवेश और पाठयपुस्तकें, गांव की बेटी योजना और बालिकाओं को साइकिल वितरण संबंधी योजना की जानकारी दी ।

       सहकारिता विभाग के श्री भास्कर ने बताया कि खेती को लाभ का धंधा बनाने के लिए शासन ने खाद-बीज पर लिये गये ऋण पर व्याज की दर को कम कर दिया है । शिविर को कृषि, स्वास्थ्य, महिला बाल विकास आदि विभागों के अधिकारियों ने भी सम्बोधित किया और संचालित विभागीय योजनाओं से ग्रामीणों को अवगत कराया ।

       इस अवसर पर जन संपर्क विभाग द्वारा राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी, मुख्यमंत्री मजदूर सुरक्षा योजना, मुख्य मंत्री अन्नपूर्णा योजना का प्रचार साहित्य वितरित किया गया ।

 

राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना मुरैना और जौरा जनपद में सी.सी.खरंजा निर्माण के लिए 24 लाख रूपये मंजूर

राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना मुरैना और जौरा जनपद में सी.सी.खरंजा निर्माण के लिए 24 लाख रूपये मंजूर

मुरैना 26 जून 08 / कलेक्टर एवं जिला कार्यक्रम समन्वयक श्री रामकिंकर गुप्ता ने मुरैना और जौरा जनपद की 19 ग्राम पंचायतों में सी.सी. खरंजा निर्माण के लिए 24 लाख 15 हजार 028 रूपये की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदाय की है । राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी स्कीम म.प्र. के तहत 12 लाख 6 हजार 29 रूपये और 12 वां वित्त आयोग निधि से 12 लाख 8 हजार 999 रूपये की स्वीकृति दी गई है ।

       जनपद पंचायत मुरैना के ग्राम पंचायत छिछावली, सिरमिती, सेवा, अरदौनी, घुरघान, रामपुरगंज, करारी, मुडियाखेडा और जेवरा खेडा में सी.सी. खरंजा निर्माण के लिए 11 लाख 40 हजार 124 रूपये तथा जनपद पंचायत जौरा की ग्राम पंचायत पहावली, निटहरा, हड़वांसी, चैना, सकतपुर, उरहेरा, उरहेडी, गुढ़ाचम्बल चचिहा और उम्मेदगढ़ बांसी में सी.सी. खरंजा निर्माण के लिए 12 लाख 74 हजार 904 रूपये स्वीकृत किये गये हैं ।

       स्वीकृत कार्यों की क्रियान्वयन एजेंसी संबंधित ग्राम पंचायत रहेगी । कार्य ग्राम स्तरीय निगरानी समिति की देख-रेख में कराये जांयेगे । कार्य स्थल पर 12 वां वित्त आयोग निधि से प्रावधानित राशि का विवरण देते हुए सूचना फलक लगाना होगा । कार्य पर ठेकेदारों का उपयोग प्रतिबंधित रहेगा तथा जो कार्य मजदूरों द्वारा किया जा सकता है, उसमें मशीनों के उपयोग पर रोक रहेगी । मजदूरी का भुगतान जॉव कार्ड धारी मजदूर को बैंक खाते के माध्यम से किया जायेगा । कार्य पूर्ण होने के पश्चात उसके रख- रखाव की जिम्मेदारी संबंधित ग्राम पंचायत की रहेगी । कार्य की विभिन्न अवस्थाओं के फोटोग्राफिक अभिलेख रखने होंगे ।